KIA मोटर्स की एजेंसी दिलाने के नाम पर 72 लाख की साइबर ठगी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश, सरगना समेत चार गिरफ्तार
KIA मोटर्स की एजेंसी दिलाने के नाम पर 72 लाख रुपये की साइबर धोखाधड़ी के मामले में वाराणसी साइबर क्राइम पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है.
वाराणसी, भदैनी मिरर। KIA मोटर्स की एजेंसी दिलाने के नाम पर 72 लाख रुपये की साइबर धोखाधड़ी के मामले में वाराणसी साइबर क्राइम पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है. पुलिस ने इस ठगी को अंजाम देने वाले गिरोह का पर्दाफाश करते हुए सरगना समेत चार अंतरराज्यीय साइबर अपराधियों को पटना, बिहार से गिरफ्तार किया है. इनके पास से पुलिस ने 22 हजार रुपये नगदी, मोबाइल, लैपटॉप समेत अन्य सामान बरामद किया है.
पीड़ित तेजश्वी शुक्ला, निवासी गौरीगंज, भेलूपुर, वाराणसी ने साइबर क्राइम थाना में शिकायत दर्ज करवाई थी कि अज्ञात साइबर अपराधियों ने KIA Motors की एजेंसी दिलाने के नाम पर 72 लाख रुपये की ठगी की है. शिकायत के आधार पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर इलेक्ट्रॉनिक सर्विलांस और डिजिटल फूटप्रिंट के जरिए जांच शुरू की. जांच के बाद पुलिस ने गिरोह के सरगना समेत चार अपराधियों को गिरफ्तार किया गया.
गिरोह ने फर्जी वेबसाइट और ईमेल के जरिए KIA Motors की एजेंसी दिलाने का झांसा देकर आवेदक से संपर्क किया. उन्होंने फर्जी दस्तावेज जैसे इनलिस्टमेंट लेटर और इन्वॉयस बनाकर आवेदक को ठगा. अभियुक्तों ने रजिस्ट्रेशन फीस, सिक्योरिटी मनी और जीएसटी के नाम पर विभिन्न बैंक खातों में पैसे जमा कराए. इसके बाद उन्होंने इन पैसों को अपने बीच बांट लिया. ठगी के दौरान अभियुक्तों ने अपनी पहचान छिपाने के लिए फर्जी सिम कार्ड और म्यूल बैंक खातों का इस्तेमाल किया.
गिरफ्तार अभियुक्तों की पहचान प्रियरंजन कुमार (28) निवासी नालंदा, बिहार, सत्येन्द्र सुमन उर्फ नेताजी (26) निवासी नालंदा, बिहार, रंजन कुमार (22) निवासी नालंदा, बिहार और रमेश सिंह भूटोला (46) मूल निवासी रूद्रप्रयाग उत्तराखंड बताई गई है. इनके पास से पुलिस ने 9 एंड्रॉयड/आईओएस मोबाइल फोन, 1 लैपटॉप, 22,460 रुपये नकद, 20 बैंक डेबिट कार्ड और फर्जी बैंक खातों की डिटेल वाली डायरी बरामद की है.