A+ एजुकेयर के निदेशक ने NEET परीक्षा परिणाम की गड़बड़ियों पर उठाया सवाल, पूछा आखिर किस आधार पर मिला ग्रेस मार्क...
NEET- UG परीक्षा परिणाम सही है यह किसी को हजम नहीं हो रहा है.
वाराणसी, भदैनी मिरर। NEET- UG परीक्षा परिणाम सही है यह किसी को हजम नहीं हो रहा है. अब मामला सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच गया है. सुप्रीम कोर्ट ने परीक्षा करवाने वाली एजेंसी एनटीए को नोटिस भी जारी कर दी है. इधर जेईई-नीट की तैयारी करवाने की कोचिंग के निदेशक भी साफ कह रहे है कि निःसंदेह पड़े मयमाने पर गड़बड़ी हुई है. दुर्गाकुंड स्थित A+ एजुकेयर के निदेशक और ख्यात फिजिक्स टीचर डॉक्टर आलोक श्रीवास्तव ने जहां परिणाम पर सवाल खड़े किए है, वहीं छात्रों को धैर्य बनाए रखने की सलाह दिए है.
आखिर किस आधार पर मिला ग्रेस मार्क
डॉक्टर आलोक श्रीवास्तव कहते है कि सबको विदित हो चुका है कि 720 मार्क पाने वाले 67 बच्चे है. उसमें भी आठ बच्चों का रोल नंबर पास-पास है यानि एक ही सेंटर के है. 718 और 719 मार्क भी छात्रों को पहली बार मिला है. उसके बाद यह सबसे बड़ी बात है 2023 के पेपर और 2024 के पेपर का लेबल लगभग बराबर था. तब 700 से ऊपर 250 से 300 बच्चे हुआ करते थे, अबकी यह सीमाएं तोड़कर करीब-करीब 2200 बच्चे है जो असामान्य उछाल है जो इस रिजट पर संदेह पैदा करता है.
वह कहते है कि संदेह पैदा होने की दूसरी वजह है कि 610 अंक पर पिछली बार 23 हजार के आसपास रैंक था. जो इस साल 656-657 पर जा रहा है. जो यह 47 नंबर का है उछाल है. कहा कि पिछली बार यूपी का कट ऑफ 23 हजार के करीब गया था जो 610 नंबर के आसपास था, और इस साल वही कट ऑफ 656-57 पर जा रहा है. अब पता चल रहा है कि एनटीए ने ग्रेस मार्क दिया है. ग्रेस मार्क आखिर किस आधार पर दिया गया है? कुछ लोगों को ओएमआर सीट फटा हुआ है, कैसे फटा है इसकी बात भी क्लीयर नहीं है. कहा कि एक बार रिजल्ट का पुर्ननिरीक्षण करना पड़ेगा. जो ग्रेस मार्क दिया है वह किस तरह से दिया गया है, किस एरिया में दिया गया है इसकी पूरी पारदर्शिता सामने लानी पड़ेगी और उस पर इन्क्वायरी कमेटी बैठानी पड़ेगी.
यूपी में कम है शिकायतें
A+ एजुकेयर के निदेशक डॉक्टर आलोक श्रीवास्तव कहते है कि अभी जो गड़बड़ियां सामने आ रही है उसमें ज्यादा हरियाणा, पंजाब, राजस्थान, बिहार, झारखंड तथा मेघालय के कुछ हिस्सों से आ रही है. यूपी के बच्चे थोड़ा संयम बरते, जब यूपी का रजिस्ट्रेशन होगा तब चांस है की मेरिट में थोड़ी राहत मिल सकती है. जो ग्रेस मार्क देने का खेल हुआ है वह यूपी से बाहर है, यूपी में ऐसी बहुत गड़बड़िया नहीं दिखी है. कुछ अपवादों है जो ओएमआर सीट से जुड़ी है. बच्चे संयम रखे घबराएं नहीं. अभिभावक भी अपने बच्चों को मोटिवेट करें. क्यों कि बच्चा बहुत मेहनत किया है, जिन बच्चों का नंबर 620-630 या 640 है वह बहुत होनहार है. वह थोड़ा संयम रखे, आगे रिजल्ट का पुर्ननिरीक्षण होता है तो काफी राहत मिलेगी.
गुणवत्ता युक्त शिक्षा हमारी पहचान
ए प्लस एजुकेयर के निदेशक डॉक्टर आलोक श्रीवास्तव कहते है कि हमारी कोचिंग ने नीट और जेईई में अच्छा प्रदर्शन किया है. कई बच्चों ने नीट में हाई मेरिट के बाद भी सलेक्शन लिया है. सबसे अधिक हमारे यहां के सौरभ सिंह ने 705 अंक 720 अंक में पाया है. इसके अलावा इसके अलावा भी कई बच्चे जिसमें सिद्धार्थ श्रीवास्तव 676/720 , श्रेयांश गुप्ता 667/720, वैभव यादव 667/720, आनंद जी 665/720 अंक पाया है. हमारे यहां 120 स्टूडेंट थे जिनमें से हाई मेरिट होने के बावजूद 15-16 बच्चे काफी बेहतर किये है. बताया कि हमारी पहचान बेहतर शैक्षणिक माहौल देना और क्वालिटी टिचिंग ही है. टिचिंग क्वालिटी और यहां के टेस्ट के लेबल से ही हमारी कोचिंग जानी जाती है. जहां लाखों की फीस की लड़ाई हो रही है वहां हम सस्ते दाम में बच्चों की तैयारी करा रहे है. हम गरीब और मध्यमवर्गीय परिवार से आने वाले छात्रों की सहूलियत को देखते हुए उन्हें उच्च गुणवत्ता की शिक्षा प्रदान कर रहे हैं.