चंदौली जनपद में बिछिया अंडर पास में 4 माह से है जलभराव,ना रेलवे और ना ही अफसरों को है इसकी परवाह

स्थित मुख्यालय से चंद कदम दूरी पर बिछिया गांव के समीप रेलवे अंडरपास में पिछले 4 माह से बारिश का पानी भरा हुआ है।

चंदौली जनपद में बिछिया अंडर पास में 4 माह से है जलभराव,ना रेलवे और ना ही अफसरों को है इसकी परवाह

चंदौली- स्थित मुख्यालय से चंद कदम दूरी पर बिछिया गांव के समीप रेलवे अंडरपास में पिछले 4 माह से बारिश का पानी भरा हुआ है। जिसके बीच से होकर बड़े छोटे वाहन एवं राहगीर सहित कोचिंग एवं विद्यालय जाने वाली छात्र-छात्राएं गुजरती है। जिसमें करीब 4 फुट से अधिक पानी होने के चलते सभी को समस्याओं का बड़ा सामना करना पड़ता है। जिसको लेकर रेलवे विभाग के अधिकारियों के साथ-साथ जिला प्रशासन सहित क्षेत्रीय जनप्रतिनिधि भी पूरी तरीके से अनजान बने हुए हैं। लापरवाहों की नजर इन समस्याओं पर नहीं पड़ रहा है।

आपको बताते चलें कि दिल्ली हावड़ा रेल रूट पर मुख्यालय के पास स्थित बिछिया गांव के समीप डीएफसीसी के द्वारा पिछले दिनों अंडरपास का निर्माण कराया गया था। जिससे कि क्षेत्र के लोगों को काफी सहूलियत भी मिली। लेकिन इसके बाद डीएफसीसी के अधिकारी इसका देखरेख करना भूल गए। इसका परिणाम यह हुआ कि बारिश के दिनों में अंडर पास में 4 फुट से अधिक पानी भर गया। जो कि पिछले कई महीनों से जस का तस बना हुआ है। जिससे जलभराव हो जाने के कारण कुछ मुख्य मार्ग से आवागमन करने वाली बड़ी छोटी गाड़ियों के चालकों, राहगीरों एवं कोचिंग स्कूल जाने वाली छात्र-छात्राओं को भारी परेशानियों से होकर गुजरना पड़ता है। इसके साथ ही अंडरपास में पानी भर जाने के चलते आसपास के लोगों का दुर्गंध के चलते जीवन दुश्वार हो गया है।

आपको बता दें जिला मुख्यालय के साथ साथ विभिन्न जगहों पर जाने के लिए प्रतिदिन इसी रास्ते से लग्जरी वाहनों में बैठ कर गुजरने वाले विभागों के अफसरों एवं जनप्रतिनिधियों को कोई फर्क ही नहीं पड़ता है। जिसमें साफ तौर पर अधिकारियों एवं जनप्रतिनिधियों की लापरवाही देखने को मिल रही है। इस संबंध में आवागमन करने वाले लोगों ने बताया कि समस्या के बाबत जिले के जिम्मेदार अफसरों को कई बार अवगत कराया गया लेकिन ग्रामीण और राहगीरों की समस्याओं को लेकर विभाग गंभीर नहीं दिख रहा है।

इसके साथ ही पिछले दिनों अंडरपास के नीचे जलभराव के सामने प्रदर्शन कर जलधारा को खाली किए जाने की मांग की थी। आरोप लगाते हुए कहा कि जिले के विकास पुरुष कहे जाने वाले डॉक्टर महेंद्र नाथ पांडेय से कई बार कहा गया लेकिन अब तक  सुनवाई नहीं हुआ। इस संबंध में एआईएएम के जिला सचिव संजय सिंह ने सीधे तौर पर स्थानीय सांसद को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि बाहरी व्यक्ति को हमारी समस्याओं से कोई लेना देना नहीं है। जो हमारा काम करेगा उसी का साथ हम लोग देंगे।

संवाददाता कार्तिकेय पांडेय