भेलूपुर के डकैती मामले में मुख्य आरोपित की पुलिस कस्टडी रिमांड मंजूर, 5 घंटे में पुलिस उगलवाएगी राज!
भेलूपुर डकैती प्रकरण में मुख्य आरोपित अजीत मिश्रा 'गुरु जी' की पुलिस कस्टडी रिमांड कोर्ट ने मंजूर कर दी है. पुलिस को पांच घंटे मिले है, जिसमें उससे पूछताछ और बरामदगी भी करनी है.
वाराणसी, भदैनी मिरर। भेलूपुर थाना क्षेत्र में हुए 1.40 करोड़ रुपए की डकैती के मामले में मुख्य आरोपित अजीत मिश्रा उर्फ 'गुरुजी' को कस्टडी रिमांड सिविल जज जूनियर डिविजन (FTC -1) शक्ति सिंह की अदालत ने बुधवार को मंजूर कर ली. भेलूपुर पुलिस ने तीन दिन की कोर्ट से रिमांड की मांग की थी, जिसके बाद मुख्य अभियुक्त के अधिवक्ता के जिरह को सुनते हुए बुधवार दोपहर 12 बजे से शाम पांच बजे तक की रिमांड मंजूर दी है.
बता दें, प्रकरण के विवेचक और भेलूपुर थाना प्रभारी राजेश सिंह ने मंगलवार को प्रार्थना पत्र देकर आरोपित को तीन दिन की पुलिस कस्टडी में दिये जाने की मांग की थी. अदालत में अभियोजन की ओर से एपीओ मनोज मिश्रा व मधुसूदन तिवारी ने रिमांड पर पक्ष रखा. अदालत ने पुलिस की ओर से दिए गए आवेदन पर बहस पूरी होने के बाद आदेश के लिए 9 अगस्त बुधवार की की तिथि नियत कर दी है. जिस पर अभी न्यायालय ने फैसला दिया है.
अदालत में तर्क दिया गया की आरोपित की निशानदेही पर डकैती के रुपयों की बरामदगी करनी है. ऐसे में उसे तीन दिन के लिये पुलिस कस्टडी में दिये जाने का अदालत से अनुरोध किया गया. बतादें कि भेलपुर थाना क्षेत्र में बीते 29 मई को कंपनी के कर्मचारी से 1.40 करोड़ रुपए की डकैती हुई थी. इस मामले में बीते पांच जून को पुलिस ने भेलूपुर थानान्तर्गत बैजनस्था क्षेत्र में एक कार से 92.94 लाख रुपए की बरामदगी भी कर ली थी. जबकि शेष रुपयों के बारे में कुछ पता नहीं चला. बाद में पुलिस ने इस मामले में भेलपुर थाने में मुख्य आरोपित अजीत मिश्रा उर्फ गुरुजी, सच्चिदानंद राय उर्फ मंटू, वसीम खान, प्रदीप पांडेय और घनश्याम मिश्रा समेत 12 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया था. जिसमें पांचों आरोपित अजीत मिश्रा उर्फ गुरुजी, सच्चिदानंद राय उर्फ मंटू वसीम खान, प्रदीप पांडेय और घनश्वान मिश्रा इस समय जेल में बंद है, जबकि अन्य लोगों की तलाश जारी है.
इसी मामले में तत्कालीन अपर पुलिस आयुक्त (अपराध एवंमु ख्यालय) संतोष कुमार सिंह ने तत्कालीन थाना प्रभारी रमाकांत दुबे समेत सात पुलिसकर्मियों को भी दोषी पाने पर बर्खास्त कर दिया था. सातों आरोपी पुलिसकर्मी फरार चल रहे हैं.