सांझा संस्कृति मंच की पदयात्रा पुलिस ने रोकी, परमिशन न होने का दिया हवाला...
परमिशन न होने का हवाला देकर एसीपी भेलूपुर प्रवीण सिंह ने मयफोर्स पहुंचकर मालवीय चौराहा (BHU) के पास ही सांझा संस्कृति मंच के पदयात्रा को रोक दिया.
वाराणसी, भदैनी मिरर। गांधी जयंती के अवसर पर रविवार को काशी हिंदू विश्वविद्यालय से साझा संस्कृति मंच की ओर से निकाली गई पदयात्रा पुलिस ने रोक दी। मंच के सदस्य लंका स्थित मालवीय प्रतिमा से मैदागिन स्थित गांधी प्रतिमा तक पदयात्रा जाने वाले थे, मैदागिन पर सर्वधर्म सभा आयोजित होनी थी. परमिशन न होने की वजह से पुलिस ने धारा 144 लागू होने का हवाला देते हुए उन्हें रोक दिया. इससे सदस्यों में काफी नाराजगी दिखी.
मंच से जुड़े बल्लभाचार्य पांडेय ने कहा कि कार्यक्रम सुबह के समय आयोजित किया गया था, ताकि ट्रैफिक बाधित न होने पाए, लेकिन पुलिस ने रोक दिया. काफी संख्या में फोर्स तैनात कर दी गई. कहा कि पुलिस का रवैया जो भी हो, लेकिन हम सभी गांधी की विचारधारा को मानने वाले हैं. इसलिए बिना कोई प्रतिरोध किए मालवीय प्रतिमा के समीप ही कार्यक्रम संपन्न किए.
बीएचयू के छात्र राणा रोहित ने कहा कि गांधी की विचारधारा से पुलिस व शासन को एतराज है. इसी वजह से शांतिपूर्ण निकाली जा रही पदयात्रा को रोकने का काम किया गया. सरकार गांधी की उस विचारधारा को रोकना चाहती है, जिसमें समानता है, भाईचारा व अमन है. कहा कि पुलिस परमिशन के नाम पर रोक रही है. राष्ट्रीय पर्व के दिन धारा 144 लागू करना कहां तक उचित है. आरएसएस की रैलियों को नहीं रोका जाता है, लेकिन हमें रोका जा रहा है. गांधी के देश में क्या उनकी जयंती मनाने के लिए भी परमिशन लेनी पड़ेगी.
सदस्यों ने मालवीय प्रतिमा के समीप बैठकर पोस्टर, बैनर के जरिए लोगों को गांधी के विचारों को अपनाने के लिए प्रेरित किया. इस दौरान गीत गाकर अहिंसा के सिद्धांतों को जन-जन तक पहुंचाने की कोशिश की. वहीं लोगों में पर्चे भी बांटे.