दफन हुआ माफिया: हजारों समर्थकों के बीच बेटे अब्बास और पत्नी को छोड़ परिजनों ने दी मिट्टी, सुरक्षा के रहे कड़े बंदोबस्त...
माफिया मुख्तार अंसारी मिट्टी में मिल गया है. शनिवार को कड़ी सुरक्षा के बीच गाजीपुर के कालीबाग कब्रिस्तान में माफिया को सुपुर्द- ए-खाक कर दिया गया.
वाराणसी, भदैनी मिरर। माफिया मुख्तार अंसारी मिट्टी में मिल गया है. शनिवार को कड़ी सुरक्षा के बीच गाजीपुर के कालीबाग कब्रिस्तान में माफिया को सुपुर्द- ए-खाक कर दिया गया. पत्नी अफसा और बेटे अब्बास को छोड़ परिजनों ने मिट्टी दी. कब्रिस्तान के बाहर लोगों का भारी हुजूम रहा. भीड़ ने "मुख्तार अंसारी जिंदाबाद" के नारे लगाए. भीड़ नियंत्रित करने के लिए मुख्तार के भाई और बेटा उमर ने लोगों को कानून व्यवस्था बनाएं रखने की अपील करते रहे.
माफिया मुख्तार का जनाजा उसके युसुफपुर स्थित आवास 'फाटक' से शनिवार सुबह करीब 9.30 बजे उठा. उसके बाद घर से 200 मीटर दूर मौजूद प्रिंस हॉल में जनाजे की नमाज पढ़ी गई. उसके बाद कब्रिस्तान तक हजारों समर्थकों का जनसैलाब उमड़ा. मुख्तार का शुक्रवार की देर रात 30 गाड़ियों के काफिले के साथ उसके आवास पहुंचा था.
सुपुर्द-ए-खाक होने के साथ ही 90 के दशक से शुरु हुए मुख्तार के बादशाहत भी मिट्टी में मिल गई. जनाजे के समय समर्थकों का कहना था कि वह माफिया नहीं मसीहा है. लेकिन उन लोगों ने राहत की सांस ली जो मुख्तार के खूनी खेल के शिकार हुए थे. कब्रिस्तान गेट पर पहुंचते ही समर्थकों ने पुलिस से धक्का-मुक्की शुरू की. डीएम गाजीपुर आर्यका अखैरी और एसपी गाजीपुर गेट पर मौजूद होकर हालात पर काबू पाया. माफिया के शव को सुपुर्दे-ए-खाक करने के लिए कब्रिस्तान के बाहर सुरक्षा में 25 डीएसपी, 21 एसडीएम, 150 इंस्पेक्टर, 3000 पुलिसकर्मी, 30 सादी वर्दी, 8 यूनिट एलआईयू की तैनाती की गई थी.