गंगा सफाई: हरे शैवाल को खत्म करने के लिए हो रहा साल्यूशन का छिड़काव, टीम ने गंगाजल का लिया सैंपल...

गंगा सफाई: हरे शैवाल को खत्म करने के लिए हो रहा साल्यूशन का छिड़काव, टीम ने गंगाजल का लिया सैंपल...

वाराणसी, भदैनी मिरर। डीएम द्वारा गठित जांच टीम में आई रिपोर्ट ने साफ किया कि गंगा में हरे शैवाल मिर्जापुर एसटीपी से बहकर आये है जिससे गंगाजल हरा हो गया है। अब हरे शैवाल को दूर करने के उपाय किए जाने लगे है। नमामि गंगे की टीम ने जापान की कंपनी द्वारा बनाये गए बायोरेमेडीऐशन सॉल्यूशन का स्प्रे शुरु कर दिया है। साल्यूशन छिड़काव का यह कार्य अगले तीन दिनों तक चलेगा। इस दौरान नमामि गंगे की टीम ने अस्सी और दशाश्वमेध घाट पर गंगाजल का सैंपल भी लिया। इसके साथ ही गंगा प्रदूषण नियंत्रण इकाई, नगर स्वास्थ्य अधिकारी और केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अधिकारियों के साथ नमामि गंगे के अधिकारियों ने गंगा घाटों की साफ सफाई का जायजा भी लिया।

गंगाजल में ऑक्सीजन की मात्रा सही
 

नमामि गंगे के प्रोजेक्ट अफसर (टेक्निकल) नीरज गहलावत ने बताया कि गंगा जल की नियमित यूपी पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड और सेंट्रल पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड द्वारा नियिमित टेस्टिंग की जाती है। आज हमने जांच में देखा कि पानी में ऑक्सीजन की मात्रा बहुत अच्छी है। पीएच वैल्यू भी ठीक है। अभी तक एक भी प्रकरण ऐसा नहीं आया है कि वाराणसी में गंगा में स्नान करने वाले किसी श्रद्धालु को स्वास्थ्य संबंधी कोई समस्या हुई हो। इस संबंध में हमारी ओर से गंगा में नियमित स्नान करने वाले श्रद्धालुओं से फीडबैक भी लिया गया है। इसलिए फिलहाल हम यही कहेंगे कि वाराणसी में गंगा में नहाने से स्वास्थ्य संबंधी कोई नुकसान नहीं है।