सपा नेताओं का आरोप भाजपा राज में सुरक्षित नहीं है बेटियां, पुलिस नहीं दे रही साथ...
पिछले दिनों लक्सा पर चार पहिया वाहन सवार लोगों द्वारा सपा महिला जिलाध्यक्ष पूजा यादव की गाड़ी में टक्कर मारने के बाद दी गई धमकी को लेकर सपा आक्रोशित है। सपा की मांग है कि पुलिस आरोपी को गिरफ्ततार करें, इस प्रकरण में प्राथमिकी दर्ज की जा चुकी है।
वाराणसी, भदैनी मिरर। समाजवादी पार्टी की महिलासभा अध्यक्ष पूजा यादव के वाहन को विगत दिनों धक्का मारने व अभद्र व्यवहार करने के आरोप के बाद रविवार को सपा नेताओं ने शासन-प्रशासन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। पराड़कर भवन में प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित कर पूजा यादव ने भारतीय जनता पार्टी पर आरोपों की झड़ी लगा दी। कहा कि भाजपा राज में महिलाएं सुरक्षित नहीं है, पुलिस भी साथ नहीं दे रही है।
सपा नेताओं का आरोप है कि शिकायक के बाद भी पुलिस प्रशासन कोई सुनवाई नहीं कर रही। पूजा यादव ने कहा कि मेरे साथ हुए घटना के प्रकरण को समाजवादी पार्टी का प्रतिनधिमंडल सपा महानगर अध्यक्ष विष्णु शर्मा के नेतृत्व में पुलिस उपायुक्त काशी जोन से दिनांक 23 जून को मिला गया था, जिसमें पुलिस ने काफी तत्परता दिखाते हुए आरोपी को खोज निकाला। आरोप लगाते हुए कहा कि उनके साथ अभद्रता करने और जान से मारने की धमकी देने वाले आरोपी ने उनके वाहन को रोककर गाली गलौज किया था व जाते-जाते जान से मारने की धमकी भी दी थी की अगर तुम महिला नहीं होती तो जान से मार देता। यह घटना 22 जून को सायं लगभग 4:30 बजे की है, जिसपर अब मुकदमा भी लिखा जा चुका है। इस प्रकरण में इंस्पेक्टर लक्सा का कहना है कि आरोपी मांफी माँग रहा है। सपा नेताओं का आरोप यह है कि पुलिस ठीक प्रकार से कार्रवाई नहीं कर रही है। ऐसा प्रतीत हो रहा कि पुलिस पर दबाव है। सपाइयों ने आरोप लगाते हुए कहा कि आरोपी युवक को सत्ता का संरक्षण प्राप्त है। ये सत्ता संरक्षित गुण्डे हैं।
सपा महानगर अध्यक्ष समाजवादी पार्टी विष्णु शर्मा ने आरोप लगाते हुए कहा कि एक महिला के साथ बीच सड़क दुर्व्यवहार किया गया और जान से मारने की धमकी दी गई पर इस पूरे प्रकरण की जांच होने का आश्वासन देने का बाद पुलिस कार्रवाई के नाम पर सिर्फ लीपा-पोती कर रही है।
सपा नेताओं ने कहा कि अगर एक जनप्रतिनिधि के साथ ऐसा हो सकता है तो आम आदमी के साथ क्या कुछ नहीं होता होगा। क्या इसी तरह आम जनता को न्याय दिलाती है पुलिस। सपा नेताओं ने कहा कि अगर इस पूरे प्रकरण की जांच नहीं हुई और आरोपी पर कार्रवाई नहीं हुई तो समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ता जरुरत पड़ने पर डीजीपी के पास भी जाएंगे और आंदोलन को बाध्य होंगे।