CP ने कस दिया शिकंजा: लालपुर पांडेयपुर का एक्टिव हिस्ट्रीशीटर है सूदखोर मटरु राय, लाइसेंसी पिस्टल के निरस्तीकरण को डीएम को भेजी जा रही रिपोर्ट...
पुलिस कमिश्नर ए सतीश गणेश ने चेतगंज थाने में दर्ज सूदखोरी, रंगदारी और अवैध कब्जे के मामले में काशी सिंह और मटरू राय पर कानूनी शिकंजा कस दिया है. मटरू राय लालपुर पांडेयपुर थाने का एक्टिव हिस्ट्रीशीटर है.
वाराणसी,भदैनी मिरर। सूदखोरी, रंगदारी और दुकान के जबरन कब्जा करने के आरोप में पुलिस आयुक्त ए. सतीश गणेश के निर्देश पर व्यापारी रविंद्र कुमार जायसवाल की शिकायत पर शनिवार को चेतगंज थाने में दर्ज मुकदमें में अब मुजरिमों पर कानूनी शिकंजा कसना शुरू हो गया है। थाना कैंट, लालपुर पांडेयपुर, मंडुआडीह सहित कमिश्नरेट के सभी थानों से अपराधियों का क्राइम डोजियर संकलित करने की कवायद शुरु कर दी है। पुलिस कमिश्नर ने इस मामले की संपूर्ण कार्यवाही डीसीपी वरुणा आदित्य लांग्हे को निकट पर्यवेक्षण में संपादित करने के निर्देश दिए है।
जमानत निरस्तीकरण की कार्रवाई शुरु
पुलिस कमिश्नर ए. सतीश गणेश ने 'भदैनी मिरर' को बताया की मुल्जिमों के पास लाइसेंसी पिस्टल भी है, जिसके निरस्तीकरण की रिपोर्ट जिलाधिकारी वाराणसी कौशलराज शर्मा को भेजी जा रही है, साथ ही रमेश राय उर्फ मटरू पर थाना लालपुर पांडेयपुर में दर्जनों अपराधिक मामले लंबित हैं। मटरू लालपुर पांडेयपुर का एक्टिव (मजारिया) हिस्ट्रीशीटर है। उन्होंने बताया की इसके आपराधिक कृत्य को देखते हुए न्यायालय से जमानत निरस्तीकरण का अनुरोध किया जायेगा। बता दें, इस पूरे प्रकरण की खुद पुलिस कमिश्नर ए. सतीश गणेश मॉनिटरिंग कर रहे है।
2007 में उधार लिए थे 7 लाख रुपए
हबीबपुरा निवासी व्यापारी रवींद्र जायसवाल ने बताया कि साल 2007 में उन्हें पैसे की जरूरत पड़ी थी। इस पर उन्होंने ब्याज पर पैसा देने वाले काशी सिंह से 7 लाख रुपए उधार लिए थे। काशी सिंह ने सिक्योरिटी के तौर पर कई चेक पर गवाहों की मौजूदगी में दस्तखत कराया था। तब से लेकर अब तक काशी सिंह और रमेश राय उर्फ मटरू उनसे 70 लाख रुपए वसूल चुके हैं। रवींद्र ने कहा कि उन्होंने काशी सिंह को जो चेक दिए थे, उसे मांगने पर कहा जाता है कि 35 लाख रुपए दो या अपनी दुकान हमारे नाम करो।
रवींद्र जायसवाल ने कहा कि अप्रैल में उन्हें हथुआ मार्केट में दो बार काशी सिंह और रमेश राय उर्फ मटरू ने बुलाया। दोनों ने उनसे सादे स्टांप पेपर पर दस्तखत कराए और कहा कि 35 लाख रुपए नहीं मिले, तो अपनी हत्या तय समझो। इसके बाद भी दोनों कभी नदेसर तो कभी किसी अन्य स्थान पर धमकाते रहे। रवींद्र ने कहा कि जब वह आजिज आ गए और उन्हें कुछ नहीं सूझा, तो उन्होंने पुलिस कमिश्नर से शिकायत की। पुलिस कमिश्नर की शिकायत पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर जांच शुरु कर दी है।