DM का सख्त तेवर: जनसुनवाई के दौरान लेखपाल को पड़ी फटकार तो किसी को जारी हुआ कारण बताओ नोटिस...

तहसील स्तर पर जिन शिकायतों का निस्तारण किया जाना चाहिए उन पर गुणवत्तापूर्ण कार्यवाही न करने के कारण लोग परेशान होकर उच्चाधिकारियों के पास शिकायत लेकर पहुंच रहे हैं। इस पर डीएम ने नाराज़गी ज़ाहिर की।

DM का सख्त तेवर: जनसुनवाई के दौरान लेखपाल को पड़ी फटकार तो किसी को जारी हुआ कारण बताओ नोटिस...

वाराणसी,भदैनी मिरर। कलेक्ट्रेट स्थित राइफल क्लब सभागार में मंगलवार को डीएम  कौशल राज शर्मा ने जन सुनवाई करते हुए पाया कि फरियादियों के आवेदनों पर अधिकारियों द्वारा दिये गये निर्देशों का अनुपालन नहीं किया जा रहा है। तहसील स्तर पर जिन शिकायतों का निस्तारण किया जाना चाहिए उन पर गुणवत्तापूर्ण कार्यवाही न करने के कारण लोग परेशान होकर उच्चाधिकारियों के पास शिकायत लेकर पहुंच रहे हैं। इस पर डीएम ने नाराज़गी ज़ाहिर की।

इस दौरान एक प्रार्थी नीरज कुमार सिंह, निवासी तहसील क्षेत्र फुलवरिया कैंट द्वारा की गयी शिकायत जिसमें जिलाधिकारी ने पूर्व में उक्त लेखपाल के खिलाफ अनुशासनहीनता की कार्यवाही की थी तथा जांचोपरांत बंजर भूमि पर किये गये कब्जे को अतिक्रमण मुक्त कराने हेतु मुख्य राजस्व अधिकारी ने निर्देशित किया था। आज प्रार्थी ने जिलाधिकारी से शिकायत की तो लेखपाल अंचल परिहार को जम कर डांटा और कारण बताओ नोटिस जारी किये जाने का निर्देश दिया।

वहीं ग्राम सोनवरसा, परगना कटेहर, तहसील सदर, वाराणसी की निवासी माधुरी यादव द्वारा शिकायत की गयी कि आराजी नं. 33छ रकबा 0.354 हे0  बैनामा कराया और धारा 116 के अन्तर्गत बटवारा हेतु प्रार्थना पत्र दिय। परन्तु विपक्षी द्वारा कब्जा नहीं लेने दिया जा रहा है इसकी शिकायत पर जिलाधिकारी ने जमीन की पैदाइश कराने व किसी का अवैध कब्जा हो तो उसकी नामजद एफआईआर दर्ज कराने का निर्देश दिया गया था। सम्बन्धित लेखपाल सोनबरसा द्वारा निर्देश की अवहेलना करते हुए मात्र धारा-24 के अन्तर्गत ही निस्तारण किया जाने का उल्लेख करते हुए आख्या प्रस्तुत की गयी जो कि स्पष्ट रूप से दिये गये निर्देश की अवहेलना है।

जिलाधिकारी ने सुनवाई के दौरान ही लेखपाल को मोबाइल पर कड़ी फटकार लगाई और निलम्बित करने का निर्देश देते हुए चेतावनी दी कि आज शाम तक यदि पैमाइश कराकर रिपोर्ट प्रस्तुत नहीं की तो बर्खास्त करने की कार्यवाही भी की जायेगी। इसके साथ ही एसडीएम सदर तथा एस.ओ.चौबेपुर को स्पष्टीकरण देने का निर्देश दिया।

उन्होंने कहा कि जनता की शिकायतों का निस्तारण गम्भीरता से न करने वाले कर्मचारी/अधिकारी अपनी कार्यशैली में सुधार लायें और एक सप्ताह में शिकायतों का गुणवत्तापूर्ण निस्तारण सुनिश्चित करें।