
Varanasi : पुरानी पेंशन बहाली की मांग को लेकर रेलवे कर्मियों का हल्ला बोल, निकाला मशाल जुलूस, दी आंदोलन की चेतावनी




वाराणसी, भदैनी मिरर। केंद्र सरकार की नई पेंशन प्रणाली (NPS/UPS) के विरोध में और पुरानी पेंशन योजना (OPS) की बहाली की मांग को लेकर रेलवे कर्मचारियों का गुस्सा फूट पड़ा। इंडियन रेलवे एम्प्लॉयी फेडरेशन (IREF) के नेतृत्व में एनई रेलवे मेंस कांग्रेस, अटेवा, DLWRMU और उत्तर रेलवे की विभिन्न यूनियनों ने मिलकर शुक्रवार एक विशाल मशाल जुलूस निकाला। इस दौरान उन्होंने अपनी कई मांगें भी रखी।


मुख्य मांगें:
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पुरानी पेंशन योजना (OPS) को तत्काल बहाल किया जाए।
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असुरक्षित NPS/UPS को समाप्त कर कर्मचारियों को सामाजिक सुरक्षा दी जाए।
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सेवानिवृत्ति के बाद स्थायी आय की गारंटी सुनिश्चित की जाए।
कर्मचारी नेताओं का कहना है कि NPS और UPS से न तो भविष्य सुरक्षित है और न ही परिवार की गारंटी। ये योजनाएं सेवानिवृत्ति के बाद स्थायी पेंशन नहीं देतीं, महंगाई भत्ता और पारिवारिक सुरक्षा का स्पष्ट प्रावधान भी नहीं है।:
IREF के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश पांडेय ने कहा,“नई पेंशन योजना हमारे जीवन की सेवा को बाजार के हवाले कर रही है। यह आर्थिक शोषण है। जब तक OPS बहाल नहीं होती, संघर्ष सड़कों से संसद तक जारी रहेगा।”


अटेवा के प्रदेश उपाध्यक्ष सत्येंद्र राय ने कहा, “यह मशाल जुलूस OPS विहीन कर्मचारियों की सामूहिक चेतावनी है। अब हम चुप नहीं बैठेंगे, अपने भविष्य के लिए सड़कों पर उतरेंगे।”
DLWRMU के संगठन मंत्री सुशील कुमार सिंह ने ऐलान किया, यह आंदोलन अब रुकेगा नहीं, OPS बहाली तक जारी रहेगा। कर्मचारी अब जाग चुके हैं।”

मीडिया प्रभारी दुर्गेश पांडेय (IREF) ने कहा, “देश की संपत्तियां निजी हाथों में जा रही हैं, और रेलवे भी खतरे में है। अगर अभी नहीं चेते तो बहुत देर हो जाएगी।”
दी चेतावनी
NMOPS और FANPSR के संयोजकों ने चेतावनी दी कि अगर OPS बहाल नहीं हुई तो आंदोलन को रेल रोको, संसद मार्च जैसे बड़े स्तर पर ले जाया जाएगा।
कार्यक्रम में कई प्रमुख पदाधिकारी जैसे चंद्र प्रकाश गुप्ता, विनोद यादव, प्रदीप यादव, शशि द्विवेदी, राकेश पाल, मनोज कुमार, अभिषेक चतुर्वेदी, महेंद्र दुबे, अकील अहमद, और अन्य कर्मचारी नेता मौजूद रहे।

