Movie prime
Ad

वाराणसी: समाजसेवी व व्यवसाई के खिलाफ दुष्कर्म व ब्लैकमेलिंग का आरोप कोर्ट ने किया खारिज

मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट मनीष कुमार की अदालत ने किया पीड़िता का प्रार्थना पत्र खारिज

Ad

 
anuj yadav
WhatsApp Group Join Now
Ad

Ad

वाराणसी। शहर के एक प्रतिष्ठित समाजसेवी एवं व्यवसाई एस. उदय शंकर राव पर दुष्कर्म व ब्लैकमेलिंग के गंभीर आरोपों को लेकर दायर प्रार्थना पत्र को CJM कोर्ट ने साक्ष्य के अभाव में खारिज कर दिया है। यह आदेश मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट मनीष कुमार की अदालत ने सुनाया।

Ad


प्रार्थिनी ने कोर्ट में भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (BNSS) की धारा 174(3) के तहत आवेदन देते हुए आरोप लगाया था कि उदय शंकर राव विगत तीन वर्षों से उसे ब्लैकमेल कर मानसिक और शारीरिक शोषण कर रहे हैं।
पीड़िता का कहना था कि 3 फरवरी 2025 को शाम करीब 8:15 बजे वह जालान महमूरगंज से खरीदारी कर लौट रही थी, तभी रथयात्रा-महमूरगंज रोड स्थित पितांबरी शोरूम के सामने उसकी स्कूटी जबरन रोककर विरोधी ने धमकी दी, अभद्र भाषा का प्रयोग किया और शील भंग करने का प्रयास किया।

Ad
Ad


व्यवसायी की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता अनुज यादव, नरेश यादव, संदीप यादव और नितेश सिंह ने पक्ष रखा। उन्होंने दलील दी कि व्यवसायी द्वारा पूर्व में ही पीड़िता के खिलाफ सारनाथ थाने में मुकदमा दर्ज कराया गया है और उस मामले में इलाहाबाद उच्च न्यायालय से गिरफ्तारी पर रोक लगी हुई है।

Ad


अदालत ने अपने आदेश में कहा कि अपर पुलिस आयुक्त द्वारा की गई जांच में पीड़िता के आरोप असत्य और निराधार पाए गए। पीड़िता ने कोई प्रत्यक्ष या दस्तावेजी साक्ष्य नहीं प्रस्तुत किए। आवेदन का उद्देश्य न्यायालय पर नाजायज दबाव बनाना प्रतीत होता है। इस आधार पर अदालत ने स्पष्ट कहा कि आवेदन फर्जी, मनगढ़ंत और दुर्भावनापूर्ण है, इसलिए इसे अस्वीकृत किया जाता है।

life line hospital new
Ad

Ad