
अधिवक्ता पुत्र हत्याकांड: स्कूल प्रबंधक के आरोपित बेटे की जमानत अर्जी कोर्ट ने की खारिज
हेमंत पटेल हत्याकांड में नामजद आरोपित राज विजयेंद्र सिंह उर्फ रवि को जिला जज की अदालत से नहीं मिली राहत, कोर्ट ने मामले की गंभीरता को देखते हुए खारिज की जमानत याचिका




वाराणसी, भदैनी मिरर। पूर्वांचल के चर्चित अधिवक्ता पुत्र हेमंत पटेल हत्याकांड में नामजद आरोपित और ज्ञानदीप स्कूल प्रबंधक के पुत्र राज विजयेंद्र सिंह उर्फ रवि को अदालत से राहत नहीं मिल सकी। जिला जज जयप्रकाश तिवारी की अदालत ने सोमवार को सुनवाई के दौरान मामले की गंभीरता को ध्यान में रखते हुए जमानत अर्जी खारिज कर दी।
अदालत में वादी की ओर से वरिष्ठ फौजदारी अधिवक्ता अनुज यादव, डीएन यादव, नरेश यादव और संदीप यादव ने मजबूती से पक्ष रखा। अधिवक्ताओं ने कोर्ट को बताया कि यह हत्या न केवल पूर्व नियोजित थी बल्कि समाज और न्याय व्यवस्था के लिए चुनौती भी है।


क्या है पूरा मामला?
सिंधौरा निवासी वादी कैलाश चंद्र वर्मा एडवोकेट ने 22 अप्रैल 2025 को शिवपुर थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी। उन्होंने बताया कि आरोपित राज विजयेंद्र सिंह ने उनके पुत्र हेमंत पटेल को अपने स्कूल बुलाने के लिए मोबाइल पर कॉल किया और दो अन्य व्यक्तियों — शशांक और किशन — को उसे लाने भेजा।


दोपहर करीब 2:03 बजे, वादी के नाती प्रिंस उर्फ गोलू के मोबाइल पर आशीष पटेल का फोन आया जिसमें बताया गया कि स्कूल परिसर में, स्कूल प्रबंधक के कमरे में, राज विजयेंद्र सिंह ने अपनी लाइसेंसी पिस्टल से हेमंत को गोली मारकर हत्या कर दी।
गिरफ्तारी और वकीलों का आक्रोश

घटना के अगले ही दिन पुलिस ने आरोपित को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। इस हत्याकांड को लेकर वकील समुदाय में जबरदस्त आक्रोश फैल गया था।
अधिवक्ताओं ने कई दिनों तक न्यायिक कार्य से विरत रहते हुए विरोध प्रदर्शन किया और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की। प्रशासन द्वारा निष्पक्ष जांच और सख्त कार्रवाई के आश्वासन के बाद ही मामला शांत हुआ। हाल ही में जब आरोपित ने जमानत अर्जी दाखिल की, तो मामला एक बार फिर गरमा गया। हालांकि, कोर्ट द्वारा जमानत अर्जी खारिज करने के बाद अधिवक्ताओं ने संतोष जताया और कहा कि न्यायिक व्यवस्था में विश्वास बना है।

