अनुसूचित जाति के किसानों को बांटे गये किट और सब्जी के बीज, बताये गये जैविक खेती के तरीके
भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान की ओर से आयोजित किया गया कार्यक्रम

वाराणसी, भदैनी मिरर। भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान की ओर से अनुसूचित जाति उप-योजना के तहत सुसुंडी, ग़ाज़ीपुर में शुक्रवार को अनुसूचित जाति के किसानों को सब्जियों बीजों का किट, मटर की काशी नंदिनी किस्म के बीज और कृषि इनपुट वितरण के साथ जैविक सब्जियों की खेती का प्रशिक्षण दिया गया। आईआईवीआर के अनुसार अनुसूचित किसानों के लिए संस्थान के वैज्ञानिकों द्वारा कृषक सशक्तिकरण की ओर बढ़ाया गया कदम है।




कार्यक्रम में 135 किसानों ने भाग लिया। इनमें 88 महिला किसान शामिल थीं। इन्हें सब्जी बीज किट, ग्रेन्युल, ह्यूमिक बाल, पॉट मिक्स कम्पोस्ट के साथ ट्रेनिंग किट निःशुल्क प्रदान किया गया। यह कार्यक्रम कृषि मंत्रालय, भारत सरकार के सौजन्य से किया गया। इस अवसर पर प्रधान वैज्ञानिक डॉ. डीपी सिंह ने किसानों को वितरित की गई सामग्रियों को कृषक समूह में उपयोग करके लाभ लेने हेतु प्रेरित किया। खाद्य सुरक्षा, पोषण सुरक्षा एवं सब्जी उत्पादन के माध्यम से आयवृद्धि के महत्व पर विस्तार से चर्चा की। कहा कि इस प्रकार की योजनाएं किसानों को आत्मनिर्भर और तकनीकी रूप से सशक्त बनाने की दिशा में एक सशक्त कदम हैं। संस्थान के प्रधान वैज्ञानिक डॉ. अच्युत कुमार सिंह ने सब्जियों को रोग प्रतिरोधक किस्मों के विषय में जानकारी दी। डॉ. भुवनेश्वरी ने किसानों को सब्जी बीजों के उत्पादन पर महत्वपूर्ण जानकारी दी। उन्होंने कहाकि इससे किसान सब्जी उत्पादन के साथ ही सब्जी बीजों एवं रोपण पौध के उत्पादन से भी लाभ ले सकते हैं।


वैज्ञानिक डॉ. विजय बहादुर चौहान ने किसानों को अच्छी फसल के लिए अच्छे बीजों का चुनाव करने के लाभ के विषय विस्तार से बताया। साथ ही लवकुश सतनामी ने तकनीकी प्रदर्शन में सहयोग किया। आईआईवीआर के वैज्ञानिकों ने बताया कि आधुनिक कृषि उपकरणों के प्रयोग से न केवल उनकी श्रम और समय की बचत होगी, बल्कि उत्पादन लागत में भी कमी आएगी। सुसुंडी एफपीओ के निदेशक संजय राजभर ने कहा कि एफपीओ आईआईवीआर के साथ मिलकर सब्जी उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए और परिवार की पोषण सुरक्षा को बढ़ाने के लिए काम कर रहा है। रीइन्वेंट ऑर्गेनिक फार्मिंग प्रोड्यूसर कंपनी के निदेशक प्रतिनिधि राम रतन सिंह ने कहा कि किसानों को समूह में सब्जी आईआईवीआर के सहयोग से अपनाना चाहिए। इस अवसर पर भारतीय स्टेट बैंक के ब्रांच मैनेजर कुमार, एनआरएलएम के आनंद मौर्य, फसल बीमा योजना के आशीष यादव सहित कृष्णा सिंह, जितेंद्र ठाकुर आदि रहे।


