
जागा वन विभाग : दशकों से अवैध पक्षियों के तस्करी के केंद्र बेहलिया टोला में छापा मारकर अपनी पीठ थपथपाई
वन विभाग और पुलिस की संयुक्त टीम ने की कार्यवाही




अभियान में कुल 90 जीवित पक्षियों को बरामद किया गया
वाराणसी, भदैनी मिरर। दशकों से वन जीवों की तस्करी के केंद्र आदमपुर थाना क्षेत्र के बेहलिया टोला में गुरूवार को वन विभाग और पुलिस के अधिकारियों ने एक बार फिर छापेमारी की। वन्य जीवों के तस्करी के पूर्वांचल के इस बड़े अड्डे पर वन विभाग और थाने की पुलिस समय-समय पर कार्रवाई कर अपना कोरम पूरा करती रही है। ताकि लोगों को पता चले कि यह दोनों विभाग काम भी करते हैं। ऐसी ही कार्रवाई के बाद वन्य जीवों के तस्करी के इस अड्डे पर छापेमारी के बाद विभाग ने अपनी प्रशंसात्मक विज्ञप्ति जारी की। तस्करी दशकों से यहां क्यों और कैसे होती है, यह आरोप भी इन्हीं दो विभागों पर लगता रहा है। लेकिन परम्परागत विज्ञप्ति के अनुसार इनकी कार्रवाई यह है। इनके विज्ञप्ति की भाषा से ही पता चल जाता है कि यह सिर्फ अपनी पीठ थपथपाने के अलावा कुछ ज्यादा नही कर रहे हैं।

अब पढ़िए इनकी स्वयं की पीठ थपथपाने की गाथा
विज्ञप्ति के अनुसार वाराणसी जनपद गंगा नदी के किनारे स्थित होने के कारण एवं चन्दौली, मिर्जापुर वन क्षेत्रों के समीपता के कारण वन्य जीवों के तस्करी हेतु संवेदनशील जनपद है। वाराणसी सिटी स्टेशन के समीप स्थित बहेलिया टोला में अवैध वन्य जीवों की तस्करी के लिए पूर्व से ही कुख्यात रहा है एवं पूर्व में उक्त क्षेत्र में वन विभाग द्वारा कार्यवाही किये जाने के प्रयास असफल रहे हैं। उक्त बहेलिया टोला के अवैध व्यापार के तार विहार, झारखण्ड व पश्चिम बंगाल राज्यों से जुडे हुए हैं। ऐसी स्थिति में अपराधियों को रंगे हाथ पकड़ने व अवैध रूप से संग्रहित वन्यजीवों के रेस्क्यू करने हेतु वन विभाग व स्थानीय पुलिस की संयुक्त ठीम गठित कर सोमवार 28 अप्रैल को शाम चार औचक छापेमारी के लिए बहेलिया टोला में की गयी। इस दौरान दर्जनों स्थलों पर अवैध पक्षियों की बिक्री करते हुए लोग मिले। पक्षियों को कब्जे में लेते हुए अभियुक्तों को मौके पर गिरफ्तार किया गया।


आरोपितों को जेल भेजा
छापेमारी टीम को नेतृत्व स्वाति डीएफओ वाराणसी, श्रुति श्रीवास्तव, अपर पुलिस उपायुक्त अपराध द्वारा किया। छापेमारी के दौरान पकडे गये आरोपितों को न्यायिक हिरासत में लेते हुए जेल भेजा गया। इस दौरान निम्न प्राजाति के पक्षी बरामद किये गये हैं- 13 भारतीय तोता लालमुनिया - 40, - चकेरी - 17,बजरी - 18, जावा स्पेरो - 2 मिले। इस तरह से कुल 90 अदद जीवित पक्षी और 7 पिजरों में कैद पक्षी बरामद किया गये। इस अवैध व्यापार के सम्बन्ध में वाराणसी वन प्रभाग द्वारा वन अपराध संख्या - 09 / 2025-26 दिनांक किया गया है।

छापे से मच गई थी भगदड़
सरकारी विज्ञप्ति के अनुसार प्रभागीय वनाधिकारी, वाराणसी द्वारा उपलब्ध करायी गयी जरंच रिपोर्ट के आधार पर समस्त कार्यवाही के दौरान स्थल पर काफी संख्या में भीड़ एकत्र होकर हो हल्ला मचाते हुए भगदड़ की स्थिति उत्पन्न हो गयी थी। लेकिन टीम की सूझ-बूझ एवं संयम से समस्त कार्यवाही को सम्पादित किया गया। इससे कोई अप्रिय स्थिति उत्पन्न नही हुई।छापेमारी की कार्यवाही वन संरक्षक, वाराणसी वृत्त डा. रवि कुमार सिंह के अनुरोध पर संयुक्त पुलिस आयुक्त एस. चन्नप्पा के निर्देश पर पुलिस द्वारा सहायता प्रदान कर की गयी। बरामद किये गये पक्षियों को तत्काल सारनाथ चिडिया घर में लाकर पशु चिकित्सक के द्वारा प्राथमिक चिकित्सा दी गयी एवं उपचार कराया गया। इन पक्षियों को स्वस्थ्य होने पर एक मई को सायंकाल सारनाथ चिडिया घर में खुले आकाश में वन विभाग द्वारा विमुक्त किया गया है। इस अवसर पर वन संरक्षक, वाराणसी, प्रभागीय वनाधिकारी, वाराणसी, उप प्रभागीय वनाधिकारी, वाराणसी एवं समस्त क्षेत्रीय वनाधिकारी वाराणसी जनपद उपस्थित रहे।

