कोफोर्ज ने IIT - BHU में किया डेटा और AI लैब का उद्घाटन
बड़े पैमाने पर सामाजिक प्रभाव के लिए एआई का उपयोग करने की दिशा में पहल

वाराणसी, भदैनी मिरर। अग्रणी वैश्विक आईटी समाधान और सेवाएं प्रदान करने वाली संस्था कोफोर्ज लिमिटेड ने IIT-BHU में कोफोर्ज डेटा और एआई लैब का उद्घाटन किया। कोफोर्ज और आईआईटी के बीच एक औपचारिक समझौता ज्ञापन के तहत स्थापित यह पहल, कोफोर्ज की सीएसआर प्रतिबद्धता में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। इसका उद्देश्य आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और डेटा साइंस में उद्योग-शैक्षणिक सहयोग का एक स्थायी, भविष्य-केंद्रित मॉडल बनाना है।




बीएचयू परिसर के आई-डीएपीटी भवन में स्थित यह 980 वर्ग फुट का लैब नवाचार और अनुभवात्मक शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए डिज़ाइन किया गया है। इसमें 32 उच्च-स्तरीय एप्पल डेस्कटॉप, एज़्योर क्लाउड एक्सेस, वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग सुविधा और परसिपीओ के माध्यम से क्यूरेटेड लर्निंग मॉड्यूल्स शामिल हैं। अब आईआईटी के छात्र और शोधकर्ता एक लाइव, एंटरप्राइज़-ग्रेड वातावरण में वास्तविक दुनिया की एआई और डेटा साइंस अनुप्रयोगों का अन्वेषण कर सकेंगे। इसमें कोफोर्ज के डेटा और एआई विशेषज्ञों से संरचित शिक्षा और मेंटरशिप का समर्थन मिलेगा। इस लैब का उद्देश्य एक समावेशी, नवाचार-प्रेरित पारिस्थितिकी तंत्र बनाना है। यह छात्रों को वास्तविक दुनिया की चुनौतियों को हल करने के लिए अपने ज्ञान को लागू करने में सक्षम बनाने में मदद करेगा। प्रारंभ में, यह लैब चार अनुसंधान परियोजनाओं का समर्थन करेगी जो महत्वपूर्ण सामाजिक आवश्यकताओं को संबोधित करती हैं।

यह साइबर सुरक्षा को मजबूत करने के लिए एआई-सहायता प्राप्त भेद्यता पहचान प्रणाली, दृष्टिबाधितों के लिए एआई-संचालित सहायक पठन प्रणाली, सतत कृषि के लिए आई ओटी और एआई-आधारित मृदा स्वास्थ्य निगरानी प्रणाली, वाराणसी के स्कूली बच्चों की गणितीय क्षमताओं को मस्तिष्क तरंग-आधारित हस्तक्षेपों के माध्यम से बढ़ाने के लिए संज्ञानात्मक अनुसंधान, कोफोर्ज डेटा और एआई लैब एक ऐसा जीवंत सहयोग मॉडल बनने का लक्ष्य रखती है, जो शैक्षणिक कठोरता और उद्योग विशेषज्ञता का संगम हो। यह सिद्धांत और एंटरप्राइज़-ग्रेड अनुप्रयोगों के बीच की खाई को पाटते हैं। यह लैब अनुसंधान प्रकाशनों, ओपन-सोर्स विकास और क्लाउड कंप्यूटिंग, मशीन लर्निंग जैसी उभरती तकनीकों में कौशल निर्माण प्रमाणपत्रों में भी योगदान देगी। इस अवसर पर भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान ( बीएचयू ) के निदेशक प्रो. अमित पात्रा ने कहाकि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस भविष्य की प्रेरक शक्ति है और आने वाली पीढ़ियों के लिए ज्ञान का असीम स्रोत है। यह विकसित और विकासशील दोनों देशों में औद्योगीकरण की अगली बड़ी क्रांति का प्रतिनिधित्व करता है। तकनीकी संस्थानों को युवा पीढ़ी में एआई शिक्षा को तेजी से आगे बढ़ाने में नेतृत्व करना चाहिए। ताकि इस परिवर्तन को गति दी जा सके और भारत को एक पूर्ण विकसित राष्ट्र बनने का मार्ग प्रशस्त किया जा सके।


कोफोर्ज की कॉरपोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व समिति की अध्यक्ष ने कहाकि हम मानते हैं कि एआई, जब सही शिक्षण ढांचे और जिम्मेदार सिद्धांतों द्वारा निर्देशित होता है, तो यह मानव क्षमता को ऊंचा उठाता है। कोफोर्ज डेटा और एआई लैब को विशेष रूप से भारत जैसे देश में, जहां डिजिटल प्रतिभा को बढ़ाना एक अवसर भी है और एक जिम्मेदारी भी, लागू एआई, डेटा इंजीनियरिंग और इंटेलिजेंट ऑटोमेशन में नए, उच्च-मूल्य वाले भूमिकाओं को बनाने के लिए डिज़ाइन किया गया है। एआई नवाचार को मानवीय शिक्षा और नैतिक पारदर्शिता के साथ जोड़कर, कोफोर्ज डेटा और एआई लैब एक ऐसे भविष्य का निर्माण करेगी जहाँ एआई न केवल व्यावसायिक मूल्य उत्पन्न करेगा बल्कि भारत और दुनिया के लिए सार्थक, समावेशी और सतत रोजगार के अवसर भी बनाएगा।
कोफोर्ज की चीफ ब्रांड और सस्टेनेबिलिटी अधिकारी अनुराधा सहगल ने कहा आईआईटी में कोफोर्ज डेटा और एआई लैब का शुभारंभ गर्व का क्षण है। यह हमारे सामाजिक रूप से जिम्मेदार नवाचार के दृष्टिकोण को साकार करता है। यहां अगली पीढ़ी के तकनीकी विशेषज्ञों को केवल उपकरणों और सिद्धांतों में ही नहीं, बल्कि उद्देश्य-प्रेरित समस्या समाधान में भी प्रशिक्षित किया जाएगा। इस लैब में विचार प्रभाव में बदलेंगे, और प्रतिभा को अवसर मिलेगा। यह पहल सीएसआर आधारित, अनुसंधान-प्रेरित साझेदारियों के लिए एक नया मानक स्थापित करती है।

