Movie prime
Ad

BHU : डॉक्टर के जज़्बे को सलाम, टीबी चेस्ट वार्ड ले जाते समय चक्कर खाकर गिरे 80 वर्षीय बुजुर्ग, 30 सेकेंड में CPR देकर बचाई जान

Ad

 
..
WhatsApp Group Join Now
Ad

Ad

वाराणसी: सर सुंदरलाल चिकित्सालय (बीएचयू) में मंगलवार को मानवता और चिकित्सा सेवा का ऐसा अद्भुत उदाहरण सामने आया, जिसने सभी को भावुक कर दिया। अस्पताल के आयुर्वेद विभाग में 80 वर्ष से अधिक उम्र के एक बुजुर्ग मरीज को उनके परिजन टीबी चेस्ट वार्ड में जांच के लिए लेकर जा रहे थे। तभी अचानक बुजुर्ग की तबीयत बिगड़ गई और वह वहीं बरामदे में गिर पड़े। उनकी हालत इतनी गंभीर हो गई कि उनकी सांसें थम गईं और दिल की धड़कन भी रुक गई। यह दृश्य देख परिजन बदहवास होकर रोने लगे और आस-पास के लोगों की भीड़ जमा हो गई।

Ad
Ad

प्रो. पाण्डेय की फुर्ती से लौटी बुजुर्ग की सांसें

जैसे ही इस घटना की सूचना ओपीडी परिसर में मौजूद स्टाफ को मिली, वे तुरंत संज्ञाहरण वेदनाहर विभाग (ओपीडी नंबर 15) पहुंचे, जहां वरिष्ठ चिकित्सक प्रो. के.के. पाण्डेय मौजूद थे। बिना किसी देर किए प्रो. पाण्डेय मौके पर पहुंचे। उन्होंने देखा कि मरीज अचेत अवस्था में है और उसकी सांसें तथा दिल की धड़कन दोनों बंद हो चुकी हैं। स्थिति को भांपते हुए उन्होंने फर्श पर ही बैठकर बेसिक लाइफ सपोर्ट (BLS) के अंतर्गत सीपीआर (Cardiopulmonary Resuscitation) देना शुरू किया।

Ad
Ad

life line hospital new

केवल 30 सेकेंड के भीतर, मरीज की सांसें लौटने लगीं और शरीर में हरकत दिखने लगी। चेतना वापस आने के बाद, प्रो. पाण्डेय ने तुरंत रेजिडेंट डॉक्टर को बुलाया और मरीज को ट्रॉली पर लिटवाकर आयुर्वेदिक ऑपरेशन थिएटर में ले गए, जहां उन्हें ऑक्सीजन और जरूरी प्राथमिक चिकित्सा दी गई। जब बुजुर्ग की हालत स्थिर हो गई, तो परिजन उन्हें इमरजेंसी ओपीडी में ले गए।

Ad

पहले भी बचा चुके हैं जान

यह पहला मौका नहीं है जब प्रो. के.के. पाण्डेय ने संकट की घड़ी में इंसानियत का फर्ज निभाया हो। करीब 6 महीने पहले, कायचिकित्सा ओपीडी नंबर 22 के बाहर एक 22 वर्षीय छात्रा बेहोश होकर गिर गई थी। तब भी प्रो. पाण्डेय ने मौके पर पहुंचकर उसे सीपीआर देकर उसकी जान बचाई थी।

Ad

Ad

FROM AROUND THE WEB