
वाराणसी से अधिवक्ताओं का समूह 'बावनी इमली' फतेहपुर पहुंचा, अमर शहीद जोधा सिंह अटैया समेत उनके 51 साथियों को दी श्रद्धांजलि




वाराणसी। जनपद न्यायालय वाराणसी के अधिवक्ताओं के एक समूह ने सोमवार को आजादी के लिए बलिदान देने वाले महान स्वतंत्रता सेनानी अमर शहीद ठाकुर जोधा सिंह 'अटैया' और उनके 51 साथियों को श्रद्धांजलि अर्पित करने के लिए 'बावनी इमली', फतेहपुर के लिए यात्रा की।
यह यात्रा रायफल क्लब परिसर वाराणसी से अधिवक्ता विनोद पांडेय "भैयाजी" के संयोजन में शुरू हुई, जिसे जिलाधिकारी सत्येन्द्र कुमार और पुलिस आयुक्त वाराणसी ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। प्रस्थान से पूर्व अधिवक्ताओं ने जनपद न्यायालय परिसर में गगनभेदी नारों के साथ शहीदों के प्रति श्रद्धा व्यक्त की।

बताते चलें कि 28 अप्रैल 1858 को कर्नल क्रस्टाइज की सेना ने ठाकुर जोधा सिंह अटैया और उनके 51 क्रांतिकारी साथियों को बंदी बनाकर फतेहपुर जिले के खजुहा क्षेत्र में एक इमली के वृक्ष पर फांसी दे दी थी। अंग्रेजों ने शवों को 37 दिनों तक पेड़ से उतरने नहीं दिया था, जिससे केवल कंकाल शेष बचे। बाद में ठाकुर महाराज सिंह और उनके साथियों ने सभी शहीदों का अंतिम संस्कार शिवराजपुर घाट पर किया था। आज भी यह स्थल 'बावनी इमली' के नाम से प्रसिद्ध है।


वाराणसी से पहुंचे अधिवक्ताओं ने स्मारक स्थल पर पुष्पांजलि अर्पित कर अमर शहीदों को नमन किया। साथ ही शहीद ठाकुर जोधा सिंह के परिवारजनों को तुलसी माला, भारत माता का चित्र और अंगवस्त्रम भेंट कर सम्मानित किया।
इस श्रद्धांजलि यात्रा में प्रमुख रूप से मंगलेश दुबे, सतीश तिवारी, पूर्व अध्यक्ष राजेश मिश्रा, विनोद पांडेय "भैया", राजेश तिवारी, विवेकानंद उपाध्याय, अश्विनी राय, शैलेश दुबे, विजय यादव सहित कई अधिवक्ता उपस्थित रहे।


