

UP के कानून-व्यवस्था को लेकर Mayawati ने उठाए सवाल, नए DGP के लिए बताया बड़ा चैलेंज
अखिलेश ने डबल इंजन की सरकार पर साधा था निशाना




लखनऊ, भदैनी मिरर। बहुजन समाज पार्टी की प्रमुख मायावती ने रविवार को सोशल मीडिया पर एक के बाद एक तीन पोस्ट कर उत्तर प्रदेश के कानून-व्यवस्था पर सवाल खड़े किए। उन्होंने नए डीजीपी के चुनौतियों को भी गिनाया। मायावती ने अपने एक्स (पहले ट्विटर) हैंडल पर लिखा कि देश के विभिन्न राज्यों में से ख़ासकर यूपी में सामंती व आपराधिक तत्वों का वर्चस्व होने से जातिवादी एवं साम्प्रदायिक द्वेष, हिंसा, अन्याय-अत्याचार तथा लोगों को उजाड़ने आदि की कार्रवाइयों से यह साबित है कि यहाँ कानून का राज सही से नहीं चल रहा है।

नए DGP के सामने है चुनौती
मायावती ने आगे लिखा कि ऐसे माहौल में यूपी पुलिस के नए प्रमुख के सामने राज्य में अपराध नियंत्रण व कानून का राज स्थापित करके सर्वसमाज के लोगों को उचित राहत पहुँचाने का बड़ा चैलेन्ज। राज्य सरकार व सत्ताधारी दल के लोगों को भी यूपी में कानून का राज स्थापित करने में हर प्रकार का सहयोग व सक्रियता जरूरी।


UP को देश के प्रगति की रीढ़ होनी चाहिए
मायावती ने आगे लिखा कि वैसे भी भारत के बहुआयामी विकास व यहाँ की विशाल आबादी की समग्र उन्नति में यूपी को देश की प्रगति की रीढ़ होना चाहिए, किन्तु इसके ग्रोथ इंजन बनकर उभरने के बजाय ज्यादातर अपराध नियंत्रण व कानून व्यवस्था की बदहाली को लेकर निगेटिव चर्चाओं में रहना क्या यह जन व देशहित में उचित?

अखिलेश ने भी नए कार्यवाहक डीजीपी को लेकर जैसे ही घोषणा हुई अखिलेश ने डबल इंजन की सरकार पर हमला बोल दिया। उन्होंने अपने सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर लिखा कि आज जाते-जाते वो ज़रूर सोच रहे होंगे कि उन्हें क्या मिला, जो हर गलत को सही साबित करते रहे। यदि व्यक्ति की जगह संविधान और विधान के प्रति निष्ठावान रहते तो कम-से-कम अपनी निगाह में तो सम्मान पाते। अब देखना ये है कि वो जो जंजाल पूरे प्रदेश में बुनकर गये हैं, नये वाले उससे मुक्त होकर निष्पक्ष रूप से न्याय कर पाते हैं या फिर उसी जाल के मायाजाल में फँसकर ये भी सियासत का शिकार होकर रह जाते हैं।
दिल्ली-लखनऊ की लड़ाई का ख़ामियाज़ा उप्र की जनता और बदहाल क़ानून-व्यवस्था क्यों झेले? जब ‘डबल इंजन’ मिलकर एक अधिकारी नहीं चुन सकते तो भला देश-प्रदेश क्या चलाएंगे।

