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Panchkula : एक ही परिवार के सात लोगों ने कार में जहर खाकर किया सुसाइड, आर्थिक तंगी और कर्ज से थे परेशान

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Panchkula News : हरियाणा के पंचकूला से आई एक बेहद दर्दनाक और झकझोर देने वाली खबर ने पूरे उत्तर भारत को दहला दिया है। उत्तराखंड निवासी एक ही परिवार के सात सदस्यों ने आर्थिक तंगी और कर्ज के दबाव में सामूहिक आत्महत्या कर ली। सोमवार की रात को यह घटना सामने आई, जब पुलिस को एक कार में पूरे परिवार के शव मिले।

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सोमवार रात करीब 11 बजे पुलिस हेल्पलाइन 112 पर एक कॉल आई कि सेक्टर-27 के मकान नंबर 1204 के बाहर खड़ी कार में कुछ लोग आत्महत्या कर रहे हैं। मौके पर पहुंची पुलिस को कार के अंदर छह लोग बेहोशी की हालत में मिले, जिन्हें तत्काल अस्पताल ले जाया गया। वहीं एक अन्य सदस्य जो शायद मदद के लिए बाहर निकला था, उसे भी अस्पताल पहुंचाया गया लेकिन डॉक्टर उसे नहीं बचा सके।

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जांच के दौरान मृतकों की पहचान प्रवीन मित्तल, उनके पिता देशराज मित्तल, पत्नी, तीन छोटे बच्चे और एक बुजुर्ग महिला के रूप में हुई है। सभी मूल रूप से उत्तराखंड की राजधानी देहरादून के निवासी थे। घटना में इस्तेमाल कार पर भी देहरादून नंबर प्लेट थी। ऐसा माना जा रहा है कि परिवार हाल ही में पंचकूला आया था, शायद यहां एक नई शुरुआत की उम्मीद में।

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कर्ज ने ली सात जिंदगियां

प्राथमिक जांच में सामने आया है कि प्रवीन मित्तल ने देहरादून में टूर एंड ट्रैवल का बिजनेस शुरू किया था, जो कोविड-19 महामारी और आर्थिक मंदी की वजह से बुरी तरह प्रभावित हुआ। भारी घाटे के चलते उन पर कर्ज का बोझ चढ़ गया, और उधारदाताओं का दबाव दिन-ब-दिन बढ़ता गया। इस मानसिक तनाव ने धीरे-धीरे पूरे परिवार को अवसाद में धकेल दिया।

मदद की गुहार, लेकिन नहीं मिला सहारा

परिवार से जुड़े लोगों का कहना है कि प्रवीन मित्तल लंबे समय से मानसिक तनाव में थे। उन्होंने कई रिश्तेदारों से सहायता की उम्मीद की, लेकिन हर बार निराशा ही हाथ लगी। कुछ कर्जदाताओं ने उन्हें धमकियां भी दी थीं। पुलिस को मिले मोबाइल चैट और दस्तावेजों से यह बातें सामने आ रही हैं।

पुलिस जांच जारी, सुसाइड नोट की तलाश

पुलिस ने पूरे घटनास्थल को सील कर जांच शुरू कर दी है। अब तक कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है, लेकिन मृतकों के मोबाइल फोन और अन्य कागजात जब्त कर लिए गए हैं। फॉरेंसिक टीम भी हर बिंदु पर बारीकी से जांच कर रही है। आशंका है कि यह आत्महत्या एक पूर्व नियोजित योजना के तहत की गई।

DCP का बयान: “यह सिर्फ हादसा नहीं, चेतावनी भी है”

पंचकूला के डीसीपी हिमाद्रि कौशिक ने इस मामले को बेहद दुखद और समाज के लिए चेतावनी करार दिया। उन्होंने कहा, "सात लोगों की सामूहिक आत्महत्या एक ऐसी त्रासदी है, जो हमें सोचने पर मजबूर करती है कि कहां चूक हो गई। फिलहाल कर्ज आत्महत्या का मुख्य कारण नजर आ रहा है, लेकिन हम हर संभावित कोण से जांच कर रहे हैं।"

मानसिक स्वास्थ्य और सामाजिक सहयोग की अनदेखी

यह घटना एक बार फिर दिखाती है कि समाज में मानसिक स्वास्थ्य और आर्थिक संकटों को लेकर संवेदनशीलता की भारी कमी है। यदि प्रवीन मित्तल और उनके परिवार को समय रहते परामर्श, सरकारी सहायता या समाज से समर्थन मिला होता, तो शायद यह भयावह अंत टाला जा सकता था।

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