
अमिताभ बच्चन की चुप्पी टूटी: ऑपरेशन सिंदूर और पहलगाम की विधवाओं की मार्मिक कहानी




✍️ मनीषा मीनाक्षी
नई दिल्ली, भदैनी मिरर। भारत-पाक तनाव और ऑपरेशन सिंदूर के बीच हिंदी सिनेमा के शहंशाह अमिताभ बच्चन ने आखिरकार अपनी चुप्पी तोड़ दी है। लंबे समय से सोशल मीडिया पर रहस्यमय मौन साधे हुए बिग बी ने एक भावनात्मक पोस्ट के माध्यम से देश और शहीदों के प्रति अपनी संवेदनाएं व्यक्त कीं।

22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के बैसरन घाटी, पहलगाम में हुए आतंकी हमले में 26 लोगों की जान चली गई, जिनमें कई नवविवाहित जोड़े शामिल थे। इस निर्मम हमले के बाद 7 मई को भारतीय सेना ने 'ऑपरेशन सिंदूर' के तहत पाकिस्तान और पीओके में 9 आतंकी ठिकानों पर सटीक हमले किए।


रविवार सुबह अमिताभ बच्चन ने इस घटना से जुड़ी एक मार्मिक घटना का वर्णन करते हुए लिखा, "छुट्टियों के दौरान एक नवविवाहित जोड़े पर हमला कर पति की धार्मिक पहचान की पुष्टि के बाद उसे गोली मार दी गई, जबकि पत्नी गिड़गिड़ाती रही। जब उसने भी मौत की गुहार लगाई, तो आतंकी ने कहा, 'नहीं! तू जाके... को बता।'"

इसके बाद बिग बी ने अपने पिता हरिवंश राय बच्चन की कविता की पंक्तियों से पीड़ा साझा की: "है चिता की राख कर मैं मांगती सिंदूर दुनिया।" उन्होंने इसे ऑपरेशन सिंदूर से जोड़ा—जिसे भारतीय सेना ने शहीदों और पीड़ितों के सम्मान में अंजाम दिया।
अपनी पोस्ट के अंत में उन्होंने लिखा: "जय हिन्द, जय हिन्द की सेना, तू ना थमेगा कभी, तू ना मुड़ेगा कभी, तू ना झुकेगा कभी... अग्निपथ! अग्निपथ! अग्निपथ!!!" यह शब्द उनकी फिल्म अग्निपथ के प्रसिद्ध संवादों की याद दिलाते हैं, जो साहस और शौर्य के प्रतीक बन चुके हैं।
सोशल मीडिया पर चुप्पी और आलोचना
पहलगाम हमले के बाद बिग बी की सोशल मीडिया पर चुप्पी को लेकर तमाम चर्चाएं थीं। कुछ फैंस ने इसे लेकर नाराजगी जताई, जबकि अन्य ने इसे "ऑपरेशन सिंदूर" से जोड़कर एक गूढ़ संकेत माना। आखिरकार, उनकी भावनात्मक पोस्ट ने सभी सवालों को विराम दे दिया।
पाकिस्तान की दोहरी नीति उजागर
ऑपरेशन सिंदूर के कुछ घंटों बाद ही पाकिस्तान ने संघर्षविराम का उल्लंघन किया। रिपोर्ट्स के अनुसार, सीमावर्ती इलाकों में पाकिस्तानी सेना ने हवाई हमले किए, जिनका भारतीय सेना ने तीखा जवाब दिया। यह घटनाक्रम दर्शाता है कि पाकिस्तान की कथनी और करनी में कितना अंतर है।

