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रात के अंधेरे में कोर्ट ने 9 आरोपियों को भेजा जेल: दो चलाते है कैफे, अस्पताल में हुई पीटने की कोशिश

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वाराणसीभदैनी मिरर। 18 साल की छात्रा से गैंगरेप के मामले में हुक्का बार संचालक समेत 9 आरोपियों को पुलिस ने अरेस्ट किया है। प्रकरण में किरकिरी के बाद पुलिस ने 23 में से नौ आरोपियों को गिरफ्तारी के बाद जेल भेज दिया। इन आरोपियों को जेल भेजने का घटनाक्रम दिनभर नाटकीय रूप से चलता रहा। आरोपियों का दिनभर मेडिकल कराया गया और फिर रात के अंधेरे में उन्हें कोर्ट में पेश किया गया। 
अस्पताल में मेडिकल और जेल में दाखिल से पहले पुलिस आरोपियों को लेकर सड़कों पर घूमती रही। पहले सभी आरोपियों को अस्पताल से पुलिस लाइन लाया गया। यहां घुमाने के बाद जिला जेल ले जाया गया और फिर बाद में कोर्ट में दाखिल किया गया। स्पेशल जज से अपील के बाद कई थानों की फोर्स लगाकर नौ आरोपियों की पेशी कराई गई। 
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पुलिस उन्हें गेट नंबर-3 से लाकर सीजेएम कोर्ट तक ले गई। पुलिस के आला अफसर हर मूवमेंट का अपडेट लेते रहे। देर रात कड़ी सुरक्षा में आरोपियों को कोर्ट में पेश किया गया, जहां से जज ने गंभीर अपराध मानते हुए जेल भेज दिया। इन सभी को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल दाखिल करने का आदेश दिया। युवती से गैंगरेप में किरकिरी के बाद कमिश्नरेट पुलिस की कार्यशैली में बदलाव नहीं दिखा। गैंगरेप के नौ आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद पुलिस उनकी मददगार दिखी।पुलिस टीम ने पहले मेडिकल कराने में पूरा दिन गुजार दिया, फिर दस्तावेज तैयार कराने में रात कर दी। इस दौरान अपराधियों से सिपाहियों की बातचीत भी जारी रही।
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इससे पहले थाना इंचार्ज और विवेचक ने आरोपियों से पूछताछ की फिर सभी को थाने से दीनदयाल अस्पताल ले जाया गया। पुलिस ने एक-एक करके उनका मेडिकल कराया। मेडिकल में आरोपियों का फिटनेस टेस्ट, ब्लड सैंपल, खाल का सैंपल और नाखून समेत सीमेन का सैंपल भी लिया गया। छात्रा के आरोप को साबित करने के लिए बताए गए चिह्नों की अलग जांच हुई। एक आरोपी की लभभग 15-20 मिनट तक जांच की गई, जिसके बाद सभी की अलग-अलग रिपोर्ट तैयार की गई।
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आरोपियों को अस्पताल से लेकर चलने के बाद पुलिस ने मीडिया को चकमा देने का प्रयास किया। अधिकारी पहले वैन को पुलिस लाइन लेकर आए, जहां काफी देर तक इंतजार करते रहे। वैन को परिसर में खड़ा रखा और पुलिसकर्मी गपशप में लगे रहे। इसके बाद वैन को पुलिस लाइन में घुमाते रहे।
अधिकारियों के निर्देश के बाद सभी को कोर्ट ले जाया गया, जहां जज ने आरोपियों का केस सुना और जेल भेजने का आदेश सुनाया। इसके बाद उन्हें जेल में दाखिल किया।
हुक्का-बार और स्पा सेंटर पर छापे, 100 से ज्यादा कैमरे खंगाले
पुलिस सूत्रों के मुताबिक, आरोपियों की तलाश में 4 थानों की पुलिस ने 24 घंटे में 33 जगहों पर दबिश दी। हुक्का-बार और स्पा सेंटर पर छापे मारे। 100 से ज्यादा सीसीटीवी कैमरे खंगाले। गैंगरेप के आरोपियों में कारोबारी से लेकर छात्र तक शामिल हैं। आरोपी स्पा संचालक पहले भी जेल जा चुका है। उसके खिलाफ कैंट थाने में 2022 में सेक्स रैकेट चलाने का केस दर्ज हुआ था, पुलिस ने उसे गिरफ्तार किया था। इसके अलावा अन्य आरोपी अलग-अलग दुकानों पर काम करते हैं, लेकिन सभी आरोपियों का कनेक्शन हुक्का बार से जुड़ा है। इसमें 2 आरोपी एक होटल पर काम करते थे, जहां पार्ट टाइम के लिए युवती का आना-जाना था। यहीं के हुक्का बार में युवती की इनसे दोस्ती हुई। पुलिस के मुताबिक, अज्ञात आरोपियों को हुक्का बार में बुलाकर युवती को उनके सामने भेजा जाता था। वहीं, गेस्ट के मसाज करने के बहाने देह व्यापार और अनैतिक संबंध बनाने के लिए भी दबाव बनाया जाता था। कई बार उसे नशा भी दिया गया, जिससे वह विरोध न कर सके।
गैंगरेप केस में अब तक इन आरोपियों को पकड़ा
राज विश्वकर्मा (20) पुत्र राजकुमार विश्वकर्मा निवासी सीर करहिया थाना लंका, आयुष धूसिया (19) पुत्र अशर्फी लाल निवासी- नईबस्ती हुकुलगंज लालपुर, साजिद (19) पुत्र गुलाम जफर निवासी- बादशाहबाग लल्लापुरा थाना सिगरा, सुहैल शेख (20) पुत्र मोहम्मद नूर निवासी हुकुलगंज थाना लालपुर, दानिश अली (20) पुत्र लियाकत अली लालपुर पाण्डेयपुर, इमरान अहमद (19) पुत्र महताब अहमद निवासी बड़ा चकरा लल्लापुरा सिगरा, शब्बीर आलम (21) उर्फ समीर अहमद पुत्र तौफीक अहमद निवासी बड़ा चकरा, सोहेल खान (20) पुत्र अतीक खान निवासी-इंग्लिशिया लाईन सिगरा और अनमोल गुप्ता 28 वर्ष पुत्र शरद गुप्ता मीरापुर बसही थाना शिवपुर।
पीटने की हुई कोशिश
लालपुर पांडेयपुर थाने की पुलिस आरोपियों का मेडिकल मुआयना कराने जिला अस्पताल गई। इसकी सूचना पाकर भीम आर्मी के कार्यकर्ता भी अस्पताल पहुंच गए। भीम आर्मी के कार्यकर्ताओं ने आरोपियों को पीटने की कोशिश की तो लालपुर पांडेयपुर थाने के पुलिसकर्मी रोकने लगे। दो लोगों को पुलिस ने हिरासत में भी लिया, हालांकि उन्हें बाद में छोड़ दिया गया। मौके पर मौजूद पत्रकार वीडियो बनाने लगे तो एक सिपाही बदसलूकी करते हुए मोबाइल छीन लिया। इसे लेकर पुलिसकर्मियों और पत्रकारों में जमकर नोकझोंक हुई। इससे पहले भी पुलिस यह प्रयास करती रही कि आरोपियों का चेहरा पत्रकारों के कैमरे में न आए।
Navneeta
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