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विदेशी छात्रों के लिए शोध और अध्ययन का पसंदीदा केंद्र बना BHU, चार सालों में संख्या बढ़कर हुई ढाई गुना

 


वाराणसी। सर्व विद्या की राजधानी बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी (BHU) दुनिया भर के 48 देशों के छात्रों के लिए उच्च शिक्षा और शोध का महत्वपूर्ण केंद्र बनता जा रहा है। विज्ञान, कला, वाणिज्य और सामाजिक विज्ञान संकायों में विदेशी छात्रों की संख्या में तेजी से वृद्धि हो रही है। चार वर्ष पहले जहां केवल 162 विदेशी छात्र विश्वविद्यालय में पढ़ाई कर रहे थे, वहीं अब उनकी संख्या ढाई गुना बढ़कर 890 हो गई है।

शैक्षणिक सत्र 2024-25 में विश्वविद्यालय ने 382 नए विदेशी छात्रों का स्वागत किया। इनमें से अधिकांश ने स्नातक और परास्नातक पाठ्यक्रमों में दाखिला लिया है। पहले सेमेस्टर की परीक्षाएं पूरी हो चुकी हैं, और दूसरे सेमेस्टर की कक्षाएं महीने के दूसरे सप्ताह में शुरू होंगी।

इंस्टीट्यूट ऑफ एमिनेंस योजना का लाभ


बीएचयू ने करीब दो साल पहले इंस्टीट्यूट ऑफ एमिनेंस योजना के तहत सभी छात्रों को फेलोशिप प्रदान करना शुरू किया। इस योजना में उन छात्रों को शामिल किया गया जिन्हें पहले फेलोशिप नहीं मिलती थी। अब ऐसे छात्रों को 6,000 रुपये और शोध छात्रों (रिसर्च स्कॉलर) को 8,000 रुपये प्रति माह की स्कॉलरशिप दी जाती है।

सुविधाएं और बुनियादी ढांचे में सुधार


अंतरराष्ट्रीय छात्रों के लिए बेहतर सुविधाएं प्रदान करने के उद्देश्य से काशी हिंदू विश्वविद्यालय ने नए हॉस्टल बनाए हैं, जिनमें 600 छात्रों के रहने की व्यवस्था है। पहले प्रवेश प्रक्रिया परीक्षा परिणामों के बाद शुरू होती थी, लेकिन अब अंतरराष्ट्रीय छात्रों के लिए आवेदन के समय ही सीटें सुरक्षित कर दी जाती हैं। इससे छात्रों को प्रवेश को लेकर आश्वस्ति मिलती है।

विदेशी छात्रों की संख्या का विश्लेषण

देश यूजी पीजी पीएचडी डिप्लोमा कुल
बांग्लादेश 241 25 20 1 287
नेपाल 240 116 21 0 377
म्यांमार 2 20 16 0 38
श्रीलंका 9 20 7 0 36
तिब्बत 10 10 6 0 26

कुल आंकड़े

48 देश : 532

स्नातक छात्र: 240

परास्नातक छात्र: 107

पीएचडी छात्र/ डिप्लोमा छात्र: 11

कुल छात्र संख्या: 890

पिछले चार वर्षों में विदेशी छात्रों की वृद्धि

सत्र यूजी पीजी पीएचडी कुल छात्र
2021-22 77 61 22 160
2022-23 141 107 22 270
2023-24 172 112 32 316
2024-25 221 133 20 374

प्रमुख देशों के छात्र

बीएचयू में अध्ययनरत विदेशी छात्रों में बांग्लादेश, नेपाल, म्यांमार, श्रीलंका, और तिब्बत के छात्रों की संख्या सबसे अधिक है। इसके अलावा ऑस्ट्रेलिया, जापान, इटली, जर्मनी, भूटान, इजराइल जैसे देशों के छात्र भी विश्वविद्यालय में पढ़ाई कर रहे हैं।