योगी सरकार के जीरो टॉलरेंस के दावे धड़ाम, बीच-बचाव करने गये किशोर की गोली मारकर हत्या
बड़ागांव थाना क्षेत्र के रसूलपुर गांव में सरेशाम हुई वारदात से सनसनी
वाराणसी भदैनी मिरर। उत्तर प्रदेश के के वाराणसी स्थित बड़ागांव थाना क्षेत्र के रसूलपुर गांव के दयालपुर बगीचे में गुरुवार शाम 6 बजे बाइक सवार बदमाशों ने समीर सिंह (14) की गोली मारकर हत्या कर दी। वहीं बदमाशों की फायरिंग से रामू यादव (34) और अभिषेक यादव भी गोली से घायल हो गए। दोनों घायलों को बीएचयू के ट्रॉमा सेंटर में भर्ती कराया गया है। रामू यादव को कमर में गोली लगी है। जबकि अभिषेक के पेट को छूते हुए गोली निकल गई। अपराध नियंत्रण और हर बात पर जीरो टॉलरेंस की बात करने वाली पुलिस इस घटना से परेशान हो गई। अब पुलिस अधिकारियों ने आरोपतों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस की तीन टीमें गठित की हैं।
जानकारी के अनुसार रसूलपुर गांव निवासी बनारसी सिंह का बेटा समीर सिंह चारा काटने वालीं मशीन का उपकरण मरम्मत कराकर घर लौट रहा था। शाम 6 बजे (दयालपुर) रसूलपुर गांव के बगीचे के पास सड़क किनारे इंदरपुर गांव निवासी रामू यादव और दोस्त अभिषेक यादव, समेत तीन अन्य युवक बातचीत कर रहे थे। तभी बाइक से दो युवक पहुंचे और रामू से विवाद करने लगे। समीर भी विवाद सुलझाने में जुट गया। इस बीच बाइक पर पीछे बैठे युवक ने असलहा निकालकर फायरिंग शुरू कर दी। चार राउंड की फायरिंग में सीने में गोली लगते ही समीर जमीन पर गिर पड़ा। गोलियों की आवाज सुनकर आसपास के लोग सहम गए। कुछ ग्रामीणों ने बाइक सवार दोनों हमलावरों को घेरने की कोशिश की, लेकिन हवा में असलहा लहराते हुए वह भाग निकले। ग्रामीणों ने पुलिस को सूचना दी और घायलों को पास के निजी अस्पताल में भर्ती कराया। समीर को शिवपुर के निजी अस्पताल में ले जाया गया, जहां से चिकित्सकों ने उसे बीएचयू के ट्रॉमा सेंटर रेफर किया। यहां चिकित्सकों ने समीर को मृत घोषित कर दिया। जबकि रामू यादव और अभिषेक को भर्ती कराया गया है।
बताया जाता है कि बदमाश रामू की बाइक छीनने का प्रयास कर रहे थे। रामू की बाइक पर अभिषेक बैठा था। विरोध करने पर बदमाशों ने फायरिंग शुरू कर दी। समीर बीच-बचाव और विवाद सुलझाने में हमलावरों के पास पहुंच गया। दो अन्य भी ग्रामीण कुछ दूरी पर थे। यह पुरानी रंजिश का मामला नहीं। क्षेत्रीय रंगबाजी का मामला है। हमलावर मनबढ़ है। यह घटना योगी सरकार के जीरो टॉलरेंस की कथित बयानबाजी को मुंह चिढ़ती नजर आ रही है। अब सरकारी मीडिया सेल इस कालिख पर सफेदा पोतने के प्रयास में जुट गया है।