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सोनभद्र: गर्म छोले में गिरने से दो वर्षीय मासूम की मौत, दो साल पहले भी इसी तरह गई थी बड़ी बहन की जान

 
सोनभद्र। जनपद के दुद्धी कस्बे में शुक्रवार को एक दर्दनाक हादसा हो गया, जिसमें डेढ़ वर्षीय मासूम बच्ची प्रिया की जान चली गई। वह गर्म छोले के भगोने में गिरकर गंभीर रूप से झुलस गई थी। इलाज के दौरान जिला अस्पताल में उसकी मौत हो गई।
पीड़ित परिवार मूल रूप से झांसी का रहने वाला है और पिछले चार वर्षों से दुद्धी में किराए के मकान में रह रहा है। परिवार का भरण-पोषण शैलेंद्र नामक व्यक्ति गोलगप्पे बेचकर करता है। शुक्रवार को उसकी पत्नी पूजा गोलगप्पे के लिए छोले उबाल रही थी और किसी आवश्यक कार्यवश बाहर चली गई थी। इस बीच उनकी छोटी बेटी प्रिया खेलते-खेलते रसोई तक पहुंच गई और उबलते छोले के भगोने में गिर गई।
बच्ची की चीख सुनकर मां दौड़ती हुई कमरे में पहुंची और उसे बाहर निकालकर तत्काल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (CHC) ले गई, जहां गंभीर स्थिति को देखते हुए डॉक्टरों ने उसे जिला अस्पताल रेफर कर दिया। जिला अस्पताल में इलाज के दौरान प्रिया ने दम तोड़ दिया।
परिवार के लिए यह हादसा और भी पीड़ादायक इसलिए रहा क्योंकि दो वर्ष पूर्व उनकी बड़ी बेटी सौम्या की भी इसी तरह खौलती दाल में गिरकर जान चली गई थी। शैलेंद्र और पूजा ने बताया कि प्रिया का जन्म सौम्या की मौत के छह महीने बाद हुआ था और वे उसे अपनी बड़ी बेटी का रूप मानते थे। अब दूसरी बेटी को खोने के बाद माता-पिता पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है।
हादसे की खबर सुनकर मां पूजा बेहोश हो गई, जबकि पिता शैलेंद्र को भी होश में लाने के लिए पड़ोसियों को पानी के छींटे मारने पड़े। शैलेंद्र ने टूटे हुए मन से कहा, “दोनों बेटियां मेरी दुनिया थीं, अब सब कुछ खत्म हो गया है। मैं खुद को बहुत अभागा मानता हूं।”
घटना के बाद मोहल्ले में मातम पसर गया और आसपास के लोग शोक जताने के लिए एकत्र हो गए। यह हादसा न केवल एक परिवार की पीड़ा है, बल्कि समाज को यह सोचने पर मजबूर करता है कि बच्चों की सुरक्षा के लिए और कितनी सतर्कता जरूरी है।