भारत पर अमेरिकी टैरिफ लगाने को लेकर मायावती का ट्रंप पर हमला, कहा, यह मित्रता नहीं, विश्वासघात...
बहुजन समाज पार्टी (BSP) की मुखिया मायावती ने अमेरिका द्वारा भारत पर भारी टैरिफ लगाने के फैसले की तीखी आलोचना की है। उन्होंने इस कदम को देश के खिलाफ विश्वासघात और भारत को कमजोर करने वाला प्रयास बताया है। मायावती ने कहा कि इन हालात से निपटने के लिए देश को एकजुट होकर, राजनीतिक मतभेदों से ऊपर उठकर, जिम्मेदारी से काम करने की जरूरत है।
"यह फैसला अविवेकी और अन्यायपूर्ण"
अपने बयान में मायावती ने कहा कि अमेरिका ने ब्राजील की तरह ही भारत पर लगभग 50 प्रतिशत का आयात शुल्क लगाकर जिस तरह से झटका देने की कोशिश की है, वह बेहद चिंताजनक है। भारत सरकार ने भले ही इसे "अनुचित और अविवेकी" बताया हो, लेकिन आम जनता इसे एक मित्र देश द्वारा विश्वासघात के रूप में देख रही है।
उन्होंने कहा,“इस संकट से निपटने के लिए देश को राजनीतिक स्वार्थ और वैचारिक संकीर्णताओं को छोड़कर, पूरी परिपक्वता और एकजुटता से आगे बढ़ना होगा। यह वक्त गंभीर रणनीति और मजबूत कानून व्यवस्था के साथ देशहित में काम करने का है।”
संसद में हो गंभीर बहस की जरूरत
मायावती ने सुझाव दिया कि इस मुद्दे पर संसद में खुलकर बहस होनी चाहिए ताकि इससे जुड़े सभी पहलुओं पर ठोस चर्चा हो सके। उन्होंने चिंता जताई कि यदि केंद्र और राज्य सरकारें केवल आपसी खींचतान और संकीर्ण मुद्दों में उलझी रहेंगी, तो ऐसे महत्वपूर्ण मसलों का समाधान मुश्किल हो जाएगा।
"बसपा की नीति हमेशा रही है सर्वजन हित की"
उन्होंने दोहराया कि बसपा की राजनीति का मूल उद्देश्य हमेशा से देश के संविधान के अनुसार “सर्वजन हिताय, सर्वजन सुखाय” रहा है। लेकिन अफसोस इस बात का है कि केंद्र और राज्यों के बीच विश्वास की कमी और निरंतर टकराव की स्थिति बनी हुई है, जिसे अब खत्म करना समय की मांग है। “देशहित में अब राजनीतिक खेमेबंदी से ऊपर उठकर, मिलकर काम करना जरूरी है। तभी ऐसे वैश्विक संकटों का सामना मजबूती से किया जा सकेगा।”