सावधान : पहाड़ी इलाके ठंड की आगोश में और अब मैदानी इलाकों की बारी, यूपी में गहराता जा रहा शीतलहर असर
श्रीनगर, पहलगाम, कारगिल में चार से सात डिग्री के नीचे पहुंचा तापमान
उत्तर-पश्चिम भारत चार दिन में और बदलेगा मौसम का मिजाज, गिरेगा तापमान
मौसम की मार की चपेट में हिमांचल, जम्मू-कश्मीर, लद्दाख, गिलगित-बाल्टिस्तान में बारिश और बफबारी के आसार
नई दिल्ली। उत्तर भारत में मौसम करवट लेने लगा है। पश्चिमी विक्षोभ और चक्रवाती प्रणालियों ने पहाड़ों से लेकर मैदानी राज्यों में ठंड बढ़ने के असार नजर आ रहे हैं। उत्तर प्रदेश में रात में पारे का गिरना जारी है। शुक्रवार को कानपुर शहर में रात का पारा लुढ़क कर 4.2 डिग्री तक पहुंच गया। यह सामान्य से 6 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज हुआ। वहीं इटावा और मुजफ्फर नगर में न्यूनतम पारा 5.4 डिग्री तक आ गिरा। मौसम विभाग का कहना है कि शनिवार से प्रदेश में हवाओं का रुख फिर से बदलेगा। यह हवाएं अरब सागर से नमी लेकर आएंगी। इसके असर से यूपी में दोबारा पारे में उतार चढ़ाव देखने को मिलेगा। दिल्ली- एनसीआर, पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में शीतलहर का असर अब गहराता जा रहा है। जबकि उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश और जम्मू-कश्मीर के ऊंचाई वाले इलाकों में शून्य से नीचे तापमान से वहां के लोगों को चुनौतीपूर्ण जीवन का सामना करना पड़ रहा है। मौसम विभाग की ताजा जानकारी के अनुसार दिसंबर की शुरुआत के साथ ही उत्तर भारत के मौसम में तेज बदलाव दर्ज किये जा रहे हैं।
पहाड़ी क्षेत्रों में बर्फबारी और मैदानी क्षेत्रों में कड़ाके की ठंड और कोहरे ने जनजीवन को प्रभावित करना शुरू कर दिया है। समय के साथ आनेवाले दिनों में खासकर उत्तर भारत में सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ और चक्रवाती विस्तार मौसम का मिजाज बदल देंगे। इसलिए लोगों को अभी से सावधान होने की जरूरत हैं और उन्हें बचाव के उपाय कर लेने चाहिए। इसके अलावा एक महत्वपूर्ण पश्चिमी विक्षोभ उत्तर पंजाब और उसके आसपास 3.1 से 4.5 किमी की ऊंचाई पर मौजूद है। इसकी वजह से बना चक्रवाती प्रसार उत्तर-पश्चिम उत्तर प्रदेश के ऊपर प्रभाव पैदा कर रहा है। साथ ही एक अन्य पश्चिमी विक्षोभ ऊपरी वायुमंडल में उत्तर दिशा में फैल रहा है। यह बारिश और बर्फबारी को बढ़ा सकता है। इसी के प्रभाव के कारण उत्तराखंड के ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बारिश और बर्फबारी की संभावना जताई जा रही है। उधर, हिमाचल प्रदेश शुष्क और अत्यंत ठंडे मौसम की मार से गुजर रहा है। कई स्थानों पर न्यूनतम तापमान 5 डिग्री सेल्सियस से नीचे पहुंच गया है। मौसम केंद्र शिमला ने 7 दिसंबर तक चंबा, कांगड़ा और कुल्लू जिलों के ऊपरी इलाकों में हल्की बारिश और बर्फबारी की आशंका जताई है। इसके असार दिखने भी लगे हैं। इधर, कश्मीर घाटी भीषण ठंड की चपेट में आ चुकी है। कई स्थानों पर पारा लगातार शून्य से नीचे पहुंच गया है।
श्रीनगर में तापमान माइनस 4.0 डिग्री सेल्सियस, पहलगाम में माइनस 4.8, लेह में तापमान माइनस 9.0, कारगिल में 7.8, और नुब्रा घाटी में माइनस 7.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज की गई है। इसके साथ ही जम्मू-कश्मीर, लद्दाख, गिलगित-बाल्टिस्तान और मुजफ्फराबाद के कुछ हिस्सों में हल्की बारिश या बर्फबारी की संभावना है। मौसम विभाग के अनुसार हरियाणा, पंजाब, पूर्वी राजस्थान और झारखंड में शीतलहर जारी रह सकती है। उत्तर-पश्चिम भारत के बड़े हिस्सों में अगले 24 घंटे न्यूनतम तापमान में कोई बड़ा बदलाव नहीं होगा, लेकिन अगले 4 दिन में तापमान 3 से 4 डिग्री सेल्सियस बढ़ सकता है। पूर्वी, मध्य और पूर्वोत्तर में अगले 2 दिन में तापमान गिरने के आसार है। जबकि .दिल्ली-एनसीआर में न्यूनतम तापमान सामान्य से 4-5 डिग्री नीचे तक पहुंच गया है। राजधानी के कई इलाकों में शीतलहर की स्थिति है। पंजाब और हरियाणा में भी शुष्क हवाओं और पश्चिमी विक्षोभ ने ठंड में इजाफा हो गया है। मैदानी राज्यों में अब ठंड और अधिक तेज रफ्तार पकड़ सकती है। महाराष्ट्र में तापमान 2-3 डिग्री सेल्सियस गिरने के असार है। जबकि गुजरात में अगले 7 दिन तक तापमान लगभग स्थिर रहने का अनुमान है।