छत्तीसगढ़ पहुंचे बाबा बागेश्वर: सरकारी विमान और पुलिसकर्मी द्वारा पैर छूने को लेकर विवाद
भिलाई में पंच दिवसीय हनुमंत कथा के लिए सरकारी विमान से आगमन, सोशल मीडिया पर उठे सवाल
छत्तीसगढ़। मध्य प्रदेश के छतरपुर स्थित बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र शास्त्री उर्फ बाबा बागेश्वर पंच दिवसीय हनुमंत कथा के आयोजन के लिए गुरुवार को भिलाई पहुंचे। इस दौरान उनके आगमन के तरीके और सरकारी सम्मान को लेकर विवाद पैदा हो गया।
सरकारी विमान से आगमन
बाबा बागेश्वर को छत्तीसगढ़ सरकार के शासकीय विमान द्वारा रायपुर लाया गया। इसके लिए राज्य सरकार के एक मंत्री को मध्य प्रदेश के सतना तक भेजा गया, और उसी विमान से बाबा बागेश्वर को रायपुर लाया गया।
सोशल मीडिया पर इस आगमन को लेकर लोगों ने सवाल उठाए कि कथा वाचक होने के नाते उन्हें निजी धार्मिक कार्यक्रम के लिए सरकारी विमान का लाभ क्यों मिला, जबकि आम नागरिक, लेखक और सामाजिक कार्यकर्ता इस सुविधा के पात्र नहीं हैं।
पुलिसकर्मी द्वारा पैर छूने का विवाद
रायपुर के स्टेट हैंगर पर पहुंचे बाबा बागेश्वर का जो वीडियो वायरल हुआ, उसमें एक वर्दीधारी पुलिसकर्मी जूते उतारकर उनके पैर छूता नजर आया। इस घटना को भी लोगों ने सरकारी नियमों और पुलिस की गरिमा के खिलाफ बताया और निष्पक्ष जांच की मांग की।
भिलाई में बयान और धर्म संबंधी टिप्पणी
भिलाई पहुंचने के बाद मीडिया से बातचीत में बाबा बागेश्वर ने बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रही हिंसा का जिक्र किया और कहा कि भारत में हिंदू एकजुट रहें। उन्होंने धर्मांतरण के मुद्दे पर भी अपने विचार व्यक्त किए और कहा कि अशिक्षा, अंधविश्वास और आर्थिक तंगी धर्मांतरण के मुख्य कारण हैं।
सोशल मीडिया और जनता की प्रतिक्रिया
सोशल मीडिया पर कई लोगों ने सवाल उठाया कि संविधान का अनुच्छेद 14 समानता की बात करता है, तो किसी कथावाचक को सरकारी संसाधन देने का आधार क्या है। वहीं, अन्य लोगों ने पुलिसकर्मी के व्यवहार को लेकर भी आलोचना की और कार्रवाई की मांग की।
बाबा बागेश्वर की छत्तीसगढ़ यात्रा और सरकारी सम्मान को लेकर यह मामला राजनीतिक और धार्मिक बहस का विषय बन गया है।