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पाकिस्तान का राफेल गिराने का दावा फिर फेल; फ्रेंच नेवी ने खोली पोल, बताया-सारी खबरें फेक

फ्रांसीसी नेवी ने साफ कहा-ऑपरेशन सिंदूर के दौरान राफेल जेट गिराने का दावा पूरी तरह गलत; जियो टीवी की रिपोर्ट को बताया मनगढ़ंत और भ्रामक
 

 

नई दिल्ली। पाकिस्तान की फर्जी खबरों की फैक्ट्री एक बार फिर बेनकाब हो गई है। राफेल जेट गिराने के दावे पर इस बार फ्रेंच नेवी ने सीधा जवाब देते हुए पाकिस्तान को कटघरे में खड़ा कर दिया।
जियो टीवी द्वारा पब्लिश की गई रिपोर्ट में कहा गया था कि फ्रेंच कमांडर कैप्टन जैक्विस लॉने ने “ऑपरेशन सिंदूर” के दौरान राफेल जेट्स के गिराए जाने की बात स्वीकार की है। फ्रेंच नेवी ने इस दावे को न केवल झूठ बताया, बल्कि इसे पूरी तरह मनगढ़ंत और फेक न्यूज घोषित कर दिया।

क्या था पाकिस्तान का दावा?

पाकिस्तानी चैनल जियो टीवी ने अपनी रिपोर्ट में दावा किया कि—

  • कैप्टन लॉने ने पाकिस्तान की “एयर सुपीरियोरिटी” स्वीकार की।
  • ऑपरेशन सिंदूर में राफेल जेट्स इसलिए गिराए गए क्योंकि चीनी J-10C फाइटर जेट अधिक एडवांस्ड थे।
  • पाकिस्तान एयरफोर्स की तैयारी बेहतर थी।

जियो टीवी की यह रिपोर्ट सोशल मीडिया पर फैल गई, लेकिन कुछ ही घंटों में इसकी सच्चाई सामने आ गई।

फ्रेंच नेवी ने क्यों कहा-यह सब फेक?

रविवार को जारी आधिकारिक बयान में फ्रेंच नेवी ने कहा-

  • कैप्टन लॉने ने कभी ऐसा इंटरव्यू नहीं दिया।
  • राफेल गिराने से जुड़ी बातें पूरी तरह झूठी हैं।
  • जियो टीवी ने गलत जानकारी और मिसइन्फॉर्मेशन फैलाई है।

फ्रेंच नेवी द्वारा खंडन के बाद पाकिस्तान का दावा सोशल मीडिया पर मज़ाक का विषय बन गया। कई यूज़र्स ने पूछा कि पाकिस्तान कब तक विदेशों की फेक खबरों के सहारे “अपनी जीत” दिखाने की कोशिश करेगा।

भारत में भी तीखी प्रतिक्रिया

भाजपा के आईटी सेल प्रमुख अमित मालवीय ने भी एक्स पर इसको लेकर पोस्ट किया।
उन्होंने लिखा-“फ्रेंच नौसेना ने जियो टीवी और उसके रिपोर्टर हामिद मीर को गलत सूचना फैलाने का दोषी माना है। यह पाकिस्तान की झूठ फैलाने वाली मशीनरी का ताज़ा उदाहरण है।”

मालवीय ने कहा कि जब विदेशी संस्थान भी पाकिस्तान की प्रोपेगेंडा रिपोर्टों का खंडन करने लगें, तो समझ लेना चाहिए कि पाकिस्तान कितनी बुरी तरह गलत सूचना फैलाने में जुटा है।

पाकिस्तान की फजीहत

पाकिस्तान पहले भी भारतीय राफेल और अन्य सैन्य क्षमताओं पर झूठे दावे कर चुका है।
लेकिन इस बार फ्रांस जैसी बड़ी सैन्य शक्ति ने आधिकारिक स्तर पर बयान जारी कर पाकिस्तान को कटघरे में खड़ा कर दिया।

इससे साफ हो गया है कि “राफेल गिराने” का दावा केवल प्रोपेगेंडा था, हकीकत नहीं।